शहर की मुख्य सड़कों में गड्ढे ही गड्ढे
दमोहPublished: Dec 05, 2019 10:18:51 pm
जिला योजना समिति के निर्देश के बाद भी काम नहीं हुआ शुरू
Pits are the only pits in the main roads of the city
दमोह. शहर के मुख्य मार्ग व लिंक मार्ग पर गड्ढे ही गड्ढे हो गए हैं, जिस कारण आए दिन दुर्घटनाएं हो रही हैं। घंटाघर से निकलने वाले चारों दिशाओं के मार्गों की खस्ताहाल सड़कों हो गई हैं। इसके अलावा शहर के अंदरूनी वार्डों की सड़कें पेयजल लाइन बिछाए जाने के कारण पिछले दो साल से खस्ताहाल हो गई है।
दमोह शहर की 39 वार्डों की अंदरूनी गलियों की सड़कें शहर में बिछाई जा रही पाइप लाइन के चलते खस्ताहाल है, लोगों ने खस्ताहाल सड़कों के कारण पूरे चार माह तक बारिश की परेशानियां झेली। क्योंकि सड़कों के साथ वार्डों की नालियां भी क्षतिग्रस्त हो गई हैं। लोगों को उम्मीद थी कि दीपावली के बाद सड़कों का सुधार व निर्माण कार्य होगा, लेकिन इसके बाद भी सुधार नहीं हो रहा है।
सड़कों के संबंध में हैं उच्च स्तरीय निर्देश
पिछले दिनों जिला योजना समिति की बैठक में प्रभारी मंत्री ने शहर की सड़कों के सुधार के लिए प्रमुखता से संबंधित सभी विभागों को निर्देशित किया था, लेकिन इस दिशा में अभी तक काम शुरू नहीं हो पाया है।
सभी सड़कों के स्वीकृत हैं कार्य
शहर के सभी वार्डों के साथ मुख्य सड़कों के नव निर्माण व मरम्मतीकरण के कार्य स्वीकृत हैं, इनके टेंडर भी हो चुके हैं, लेकिन संबंधित ठेकेदारों द्वारा अभी तक काम शुरू नहीं किए हैं।
पहले भुगतान फिर काम
सड़कों के काम शुरू न होने के पीछे का कारण सूत्र बताते हैं कि दमोह शहर में पुरानी प्रथा चली आ रही है कि उच्च स्तरीय दवाब में ठेके लिए जाते हैं, फिर उसी दवाब के चलते पहले एडवांस भुगतान करा लिया जाता है फिर काम शुरू किया जाता है। ऐसे मामलों की शिकायतें भी हुईं विधानसभा में प्रश्न भी उठे लेकिन कुछ दिनों तक थमने के बाद फिर यह प्रथा शुरू हो गई है, जिससे सड़क निर्माण व मरम्मत के काम में लेट लतीफी नजर आ रही है।
खस्ताहाल सड़कें भी बढ़ा रही वायु प्रदूषण
शहर की पूरी सड़कें खस्ताहाल होने के कारण धूल भी उड़ रही है। शहर के फुटपाथों पर रोज सुबह सफाई होने के दौरान धूल के गुबार हवा में उड़ रहे हैं। जो वायु प्रदूषण बढ़ा रहे हैं। गुरुवार को एक्यूआइ का दमोह में स्तर 119 पर रहा है। जिससे यह माना जा रहा है कि खस्ताहाल सड़कों से धूल भी वायु मंडल में जाकर दमोह के पर्यावरण का स्तर औद्योगिक शहरों की श्रेणी में ला रही है।
धूल की समस्या से हो रही परेशानी
पिछले एक साल से धूल की एलर्जी के कारण अनेक लोगों को समस्याएं आ रही हैं। निजी व प्राइवेट अस्पतालों में मरीज बढ़ रहे हैं। इस संबंध में दोनों जगह के चिकित्सकों का कहना है कि शहर में धूल की समस्या का मुख्य कारण खस्ताहाल सड़क व फुटपाथों का सही तरीके से विकास न किया जाना है।