परिश्रम करे युवा
शनिवार को भारतीय पेट्रोलियम संस्थान (आईआईपी) के सभागार में आयोजित दीक्षांत समारोह में बतौर मुख्य अतिथि उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने कहा कि सूचना तकनीकि के कारण आज दुनिया ग्लोबल विलेज में सिमट रही है। एेसे में छात्रों को नवीन ज्ञान तक पहुंचने व जीवन में ग्रहण करने का रास्ता तलाशना होगा। हमारा लक्ष्य उत्कृष्टता व कार्यक्षमता में सुधार होना चाहिए। उन्होंने युवाआें से बड़े सपने देखने व बड़े लक्ष्य रखने के साथ ही कठिन परिश्रम करने का भी आह्वान किया। राज्यपाल डा कृष्ण कांत पाल ने कहा कि विद्यार्थियों का चरित्र निर्माण, क्लास रूम में होता है और वहं से राष्ट्र निर्माण भी होता है। शिक्षण संस्थाआें और विश्वविद्यालयों को विभिन्न सम—सामयिक चुनौतियों में सकारात्मक भूमिका निभानी होगी जिससे पढऩे वाले विद्यार्थी मजबूती से अपने पैरों पर खड़े हो सकें।
ज्ञान की नहीं कोई सीमा-सीएम रावत
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि ज्ञान की कोई सीमा नहीं होती। शिक्षा पूरी करने के बाद छात्रों को समाज के लिए कुछ करने और योगदान देने की बड़ी अहम जिम्मेदारियों का निर्वहन करना होगा। समारोह में एमबीए, बीटेक, बीबीए, एलएलबी एवं बीएड में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले 2२0 स्नातकों को उपाधि प्रदान की गई जिसमें आठ छात्रों को गोल्ड व आठ को सिल्वर मेडल प्रदान किया गया। कार्यक्रम में उच्च शिक्षा मंत्री डॉ धनसिंह रावत, इक्फाई विश्वविद्यालय के कुलाधिपति डा एम रामचन्द्रन, मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह, डीजीपी अनिल कुमार रतूड़ी, आयुक्त गढ़वाल शैलेश बगोली समेत अनेक लोग मौजूद थे।