आमजन को हुई भारी परेशानी…
मैदान से लेकर पर्वतीय इलाके तक यात्रियों को भारी परेशानी का सामना उठाना पड़ा। सुबह- सुबह स्कूल जाने वाले छात्रों को कई जगह स्कूली वाहनों रोककर बच्चों को वाहनों से जबरन नीचे उतार दिया गया। उत्तराखंड परिवहन महासंघ के आह्वान पर बुधवार को सार्वजनिक निजी वाहन हड़ताल पर हैं। इसके चलते दून की सड़कों पर सन्नाटा छाया रहा और आमजन को परेशानी का सामना करना पड़ा।
ऋषिकेश सेंटर से गढ़वाल मंडल के उत्तरकाशी और श्रीनगर रूट पर कोई भी बस नहीं चली। यहां पर टैक्सी-मैक्सी का संचालन भी पूरी तरह से ठप रखा गया। इसके अलावा शहर में ऑटो-विक्रम का भी संचालन नहीं हुआ। लोगों को आवागमन में परेशानी का सामना करना पड़ा।
हड़ताल को ध्यान में रखते हुए उत्तराखंड परिवहन निगम ने ऋषिकेश और देहरादून रूट पर बसों की संख्या बढ़ाई है। देहरादून रूट पर परिवहन निगम की 10 बसों का संचालन होता है। यहां पांच बस सेवाएं हड़ताल को देखते हुए बढ़ाई गई हैं।
बता दें कि टिहरी जिले में पर्वतीय टैक्सी-मैक्सी महासंघ की लगभग 4,000 जीप-टैक्सियों का संचालन होता है। टीजीएमओ जिले में लगभग 40 से 50 बसों की सेवाएं प्रतिदिन संचालित करता है। वहीं कोटद्धार में भी हड़ताल को सफल बनाने के लिए निजी परिवहन कंपनियां और समितियां मैदान में उतर आई हैं। इसके साथ ही हल्द्वानी, चंपावत और पिथौरागढ़ में भी कुमाऊं टैक्सी यूनियन की टैक्सियां व निजी वाहन भी नहीं चल रही हैं। पहाड़ के कई हिस्सों में आज टैक्सी-मैक्सी और बसों के पहिए पूरी तरह जाम है। पहाड़ों में निजी वाहन नहीं चलते से लोगों को दिक्कतों का काफी सामना करना पड़ रहा है, क्योंकि पर्वतीय क्षेत्र के रूटों पर रोडवेज बसों का संचालन बहुत कम है।