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करोड़ों खर्च कर निगम ने आलीशान कार्यालय तो बनाया लेकिन उसमें भूल गए रूफ वाटर हार्वेस्टिंग

locationदेवासPublished: Jun 21, 2019 11:54:03 am

Submitted by:

mayur vyas

अन्य सरकारी विभाग भी पानी बचाने के मामले में पीछे

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देवास. नगर निगम के नए आलीशान कार्यालय में भी रूफ वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम नहीं लगाया गया है। अन्य सरकारी कार्यालय भी पानी बचाने के मामले में उदासीन बने हुए है। शहर के अंदर भूजल स्तर की लगातार खराब होती स्थिति के बीच ये लापरवाही बता रही है कि जल बचाने को लेकर हमारे अफसर कितने जिम्मेदार है। जल बचाने की सोच आकर्षक नारों से आगे नहीं बड़ पा रही है। नर्मदा का जल शहर को मिलने के बाद ये लापरवाही और अधिक नजर आ रही है। शहर अपना जल स्त्रोत तो बचाए ये सोच भी धीरे-धीरे खत्म हो रही है।
नगर निगम ने अपना पुराना कार्यालय जर्जर होने के बाद समीप ही नया कार्यालय तैयार किया था। नए कार्यालय में सभी सुविधाएं जुटाई गई है। बाहर से देखने पर भी निगम की नई बिल्डिंग भव्य नजर आती है। निगम की नई बिल्डिंग में सभी सुविधाएं एक ही छत के नीचे जुटाई गई है। कर्मचारियों के लिहाज से नगर निगम शहर के अंदर सबसे बड़ी एजेंसी है। निगम हर साल टैंडर निकालकर लोगों के घरों पर रूफ वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगवाता है, इसके लिए भवन निर्माण की अनुमति के समय ही हार्वेस्टिंग के लिए राशि जमा करा ली जाती है। निगम की गाइड लाइन के अनुसार ही 140 वर्गमीटर से अधिक के निर्माण पर इसे अनिवार्य किया गया है। ऐसे में सवाल उठता है कि जब निगम ने अपनी खुद की बिल्डिंग बनवाई तो नियम को कैसे भूल गए, जबकि इस काम की निगरानी निगम के सभी जनप्रतिनिधियों के साथ ही अफसर भी कर रहे थे। ऐसे में किसी को भी याद नहीं आई कि बरसात के पानी को अपनी बिल्डिंग की छत से जमीन पर उतारकर उसको संग्रहित करें।
अन्य सरकारी भवनों पर भी नहीं पानी बचाने के इंतजाम
पानी बचाने के इंतजाम शहर के अन्य सरकारी भवनों पर भी नहीं किए गए है। नगर निगम के समीप ही नया एसपी कार्यालय बनकर तैयार हुआ लेकिन यहां पर भी पानी बचाने के लिए रूफ वाटर हार्वेस्टिंग नहीं लगाया गया है। जिला अस्पताल में जरूर रूफ वाटर हार्वेस्टिंग लगाया गया था लेकिन वो खराब पड़ा है। ऊपरी मंजिल पर लैट बाथ का काम शुुरू करने पर इसमें तोडफ़ोड़ हो गई थी। बारिश सिर पर है लेकिन इसे अभी तक सुधार नहीं जा सका है। जिला अस्पताल में भी पानी का संकट चल रहा है। रूफ वाटर हार्वेस्टिंग के लंबे समय से खराब होने से पिछले साल की बारिश का संग्रह नहीं किया जा सका था, जिसके चलते बोरिंग इस वर्ष दम तोड़ गया। निगम का एक पानी का टैंकर रोज जिला अस्पताल जा रहा है। जिला पंचायत कार्यालय पर रूफ वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम के सवाल पर जिला पंचायत अध्यक्ष नरेंद्रसिंह राजपूत ने बताया कि उन्हें नहीं पता कि पानी बचाने के लिए जिपं कार्यालय की बिल्डिंग पर रूफ वाटर हार्वेस्टिंग लगाया गया या नहीं। ऐसे में सवाल उठता है कि जो जनप्रतिनिधि अन्य कई कार्यक्रमों में पर्यावरण संरक्षण व जल बचाने के नारे देते है उन्हें खुद अपने यहां पानी बचाने के काम की जानकारी नहीं है। इस संबंध में जिपं सीईओ शीतला पटले से भी बात करनी चाही लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया। शहर के अंदर केपी कॉलेज, जीडीसी, कलेक्टोरेट व अन्य कई सरकारी बिल्डिंगों पर रूफ वाटर हार्वेस्टिंग नहीं लगे है।
स्कूल का बोरिंग अब भी चल रहा
उत्कृष्ट विद्यालय क्रमांक दो में दो साल पहले रूफ वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगाया गया था। प्राचार्य चंद्रावती जाधव ने बताया कि स्कूल के दो बोरिंगों में बारिश का पानी उतारा गया था। बारिश का पानी स्टोर होने से जलसंकट की समस्या स्कूल में दूर हुई है।
वर्जन-
नगर निगम की नई बिल्ंिडग में रूफ वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम नहीं लगाया गया है। अभी नगर निगम की नई बिल्डिंग में कार्यालय जरूर शुरू हो गया है लेकिन भविष्य में नया निर्माण हो सकता है, जो ऊपर छत पर होगा। भविष्य के निर्माण कार्य को देखते हुए हार्वेस्टिंग सिस्टम नहीं लगाया गया है।
कैलाश चौधरी, कार्यपालन यंत्री
नगर निगम देवास।
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