मनरेगा के तहत पेमेंट के लिए एक्सिस बैंक सबसे बड़ी एजेंसी रूप में काम कर रही थी। यहां पर मनरेगा मजदूरों के 1 लाख 24 हजार खाते संचालित थे, जिसके माध्यम से मजदूरों को भुगतान किया जाता था। आरबीआई के गाइड लाइन अनुसार सभी बैंकों के खातों में केवायसी करना था, लेकिन बैंक द्वारा इस पर ध्यान नहीं दिया गया है। इसके चलते कई खातों में भुगतान की समस्या आई।
इसके अतिरिक्त तकनीकी समस्याओं के कारण भी मजदूरों के खातों में राशि ट्रांसफर की दिक्कत आ रही थी। स्थिति को देखते हुए जिला पंचायत द्वारा एक्सिस बैंक से सभी 1 लाख 24 हजार खातों को बंद करवा दिया गया। इसके बाद भी समस्या दूर नहीं हुई है। अभी भी पुराने खातों में मजदूरों की राशि बची हुई। दो दिन पहले तो राशि देने की मांग को लेकर मजदूरों ने बैंक के सामने प्रदर्शन भी किया।