पुलिस के मुताबिक वनांचल बोराई थाना क्षेत्र में थाना प्रभारी युगल किशोर नाग के नेतृत्व में पुलिस नाकेबंदी कर वाहनों की जांच-पडताल कर रही थी। तभी उड़ीसा की तरफ से एक राजस्थान पासिंग ट्रक क्रमांक आरजे 06 जीसी-3522 काफी तेज रफ्तार से आ रही थी। बोराई बेरियर नाका में उसे किसी तरह रोका। संदेह के आधार पर पुलिस ने वाहन की जांच की, तो उसमें दो व्यक्ति बैठे मिले। पूछताछ में उसकी गतिविधि संदिग्ध लगी, तब उनका नाम पूछा गया। युवकों ने अपना नाम गोपाल गुर्जर (22) पिता भैरूलाल जाति गुर्जर साकिन गड़वाई जिला भीड़वाड़ा, प्रभुलाल गुर्जर (22) पिता रामलाल गुर्जर साकिन हदवा कबाडिय़ां जिला भीड़वाड़ा (राजस्थान) बताया। ट्रक की तलाशी लेने पर ट्रक के पीछे डाला में छोटे-बड़े आकार के 46 प्लास्टिक की बोरियां मिली। इसे निकाल कर देखने पर उसमें मादक पदार्थ गांजा मिला। जब्त गांजे का वजन कुल 10 क्विंटल 55 किलोग्राम है, जिसकी कीमत करीब 2 करोड़ 11 लाख बताया गया है। ट्रक की कीमत 20 लाख तथा दो नग मोबाइल फोन दस हजार तथा 22 सौ रुपए नगदी इस तरह कुल जुमला 2 करोड़ 31 लाख 12 हजार 2 सौ रुपए है।
भेजा गया जेल
तस्करों ने बताया कि वे विशाखापटनम (आंध्रप्रदेश) से एशियन पेंट लोड कर भीलवाडा राजस्थान के लिए निकले थे। रास्ते में सालुर घाटी के पास रोड से 2 किमी अंदर जंगल में गांजा लोड किया। इस गांजा को राजस्थान ले जा रहे थे। पुलिस ने आरोपीयों के खिलाफ धारा 20-ख नारकोटिक्स एक्ट के तहत अपराध पंजीबद्ध किया है। दोपहर बाद उन्हें न्यायालय में पेश किया गया, जहां से उसे जेल भेज दिया गया।
अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई
उल्लेखनीय है कि गांजा तस्करी के मामले में धमतरी पुलिस की अब तक की यह सबसे बड़ी कार्रवाई है। पड़ोसी राज्य उड़ीसा के नवरंगपुर, मल्कानगिरी आदि क्षेत्रों में अवैध रूप से गांजा की खेती होती है। आए दिन यहां से बड़ी मात्रा में गांजा की तस्करी होती है। आमतौर पर उड़ीसा से बस्तर जगदलपुर के रास्ते नेशनल हाइवे में पकड़े जाने का डर रहता है, इसलिए ज्यादातर तस्कर छत्तीसगढ़ से निकलने के लिए बोराई का मार्ग का इस्तेमाल करते हैं। यहां पुलिस की चौकसी के चलते ही हर महीने, पखवाड़ेभर में बड़ी मात्रा में गांजा पकड़े जा रहे हैं।
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