उल्लेखनीय है कि धमतरी जिले में करीब 12 गैस एजेंसियां संचालित हो रही है। यहां 1 लाख 25 हजार से पंजीकृत उपभोक्ता हैं। इनमें से करीब 80 हजार उपभोक्ताओं को केन्द्र शासन की ओर से चलाई जा रही उज्जवला गैस योजना के तहत कनेक्शन मिला है। पूर्व में गैस एजेंसी संचालक किसी भी नए कस्टमर को एलपीजी गैस कनेक्शन देने के पहले बकायदा शपथ पत्र और केवायसी जमा कराते थे। जब से केन्द्र शासन ने उज्जवला गैस योजना शुरू की है, तब से वर्ष-२०११ की सर्वे सूची के आधार पर उपभोक्ताओं को गैस कनेक्शन का वितरण किया जा रहा है। उपभोक्ता इसके लिए आधार कार्ड भी जमा कर रहे हैं। इसके बाद भी उपभोक्ताओं के खाते में सब्सिडी नहीं आने और कालाबाजारी की शिकायत मिल रही है।
इसी को आधार मानते हुए केन्द्र शासन ने सभी गैस एजेंसी संचालकों को एक पत्र जारी किया है, जिसमें उपभोक्ताओं को केवायसी जमा कराने के लिए कहा गया है। इसके तहत एजेंसी संचालक भी उपभोक्ताओंं को इसके लिए प्रेरित कर रहे हैं। इसके बाद भी वे दस्तावेज जमा कराने के लिए आगे नहीं आ रहे हैं।
बताया गया है कि गैस रिफ्लिंग कराने वाले प्रत्येक उपभोक्ताओं को इसके बारे में जानकारी दी जा रही है। गैस एजेंसी संचालकों का कहना है कि वे पहले ही उपभोक्ताओं इससे अवगत करा चुके हैं। इसके बाद भी वे ध्यान नहीं दे रहे हैं। ऐेसे में शासन की ओर से जो भी निर्देश मिलेगा शत-प्रतिशत उसका पालन किया जाएगा। यदि कनेक्शन रद्द होता है, तो उपभोक्ताओं की जिम्मेदारी होगी।
गैस एजेंसी संचालक, मोहन अग्रवाल ने बताया केन्द्र शासन की ओर से अभी तक कोई नोटिस जारी नहीं किया गया है। हालांकि उपभोक्ताओं को केवायसी जमा कराने के लिए प्रेरित किया जा रहा है।