गौरतलब है कि गत दिनों इंदौर क्राइम ब्रांच ने फाउंडेशन से जुड़े कुछ लोगों को पकड़ लिया है। इस मामले में जांच की जा रही है। इस कारण धार में पीडि़त महिलाओं ने कोतवाली पुलिस को आवेदन देकर कार्रवाई की मांग की है। धार के अलावा जिले के बगड़ी की भी महिलाएं इस फाउंडेशन की ठगी का शिकार हुई है। ऐसे में धार शहर की पीडि़त महिलाओं ने न्याय की उम्मीद से पुलिस को आवेदन गुरुवार को दे दिया है। रचना ठाकुर, निशा वर्मा, रोशनी डोडिया, निलोफर अली, सीमा शिवले, ज्योति राठौड़, शीतल ठाकुर आदि महिलाएं कोतवाली पहुंची और टीआइ के नाम आवेदन सौंपा है।
यह है मामला ममता महिला उत्थान फाउंडेशन नईदिल्ली और इंदौर से संचालित हो रहा था। कोरोना काल में मार्च-२०२१ में इस फाउंडेशन में धार में कामकाज शुरू किया। महिलाओं ने बताया अमित वर्मा, मनीषा यादव, निर्मला राणा व आकाश सर नाम के लोगों ने फाउंडेशन के तहत धार में ७०० सेंटर बनाए। हर सेंटर पर २० छात्रों को ट्रेनिंग दी जाना थी इसलिए प्रत्येक छात्र यानी महिला सदस्य से २०-२० हजार रुपए जमा करवाए। इन छात्रों को ट्रेनिंग देने के लिए हर सेंटर एक महिला टीचर को पदस्थ किया था। इन्हें ट्रेनिंग के लिए ३ हजार रुपए महिना वेतन दिया जाना था। लेकिन वेतन का भुगतान अधिकांश महिलाओं को नहीं हुआ।