धार

खेत से घर लौट रहे किसान पर तेंदुए ने किया हमला, चीख सुनकर दौड़े लोग

सामुदायिक केंद्र में किया गया इलाज
वन विभाग के रेंजर ने दी सहायता राशि

धारDec 07, 2019 / 06:04 pm

हुसैन अली

खेत से घर लौट रहे किसान पर तेंदुए ने किया हमला, चीख सुनकर दौड़े लोग

निक्की राठौड़ @ कालीबावड़ी. ग्राम आनुपुरा बादरा में शुक्रवार एक ग्रामीण पर तेंदुए ने हमला कर दिया। चीख सुनकर लोग दौडक़र आए और उसे बचाया। सामुदायिक केंद्र में उसका इलाज करवाया गया। उसके खेत पर वन विभाग को पगमार्क मिले हैं, लेकिन अभी विभाग बता नहीं पा रहा है कि ये तेंदुए के हैं या नहीं।
शुक्रवार शाम 6 बजे किसान कमल पिता छगन अपने खेत में दवाई छिडक़कर घर लौट रहा था। इसी दौरान वहां छुपे तेंदुए ने हमला कर दिया। हमला होते ही कमल की चीख निकल गई। कमल ने आसपास के ग्रामीणों को जोर-जोर से आवाज लगाई। लोग दौडक़र आए और उसे बचाकर वाहन से धामनोद के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले गए। कमल को तेंदुए ने बहुत जोरों से नोंच लिया था। ग्रामीणों ने तत्काल वन विभाग के रेंजर धर्मेंद्र राठौर को फोन लगाकर जानकारी दी। वे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे और घायल कमल को एक हजार रुपए की सहायता राशि दी।
इसके अलावा दूसरा मामला शुक्रवार रात 11 बजे का है। कालीबावड़ी के सरपंच पुत्र हंसराज चौहान अपनी कार से धरमपुरी से मुंडला होते हुए दोस्तो के साथ लौट रहे थे। इस दौरान उन्हें मुंडला के पोल्ट्री फॉर्म के पास तेंदुआ दिखाई दिया। तेंदुए को देख सभी हक्के-बक्के रह गए। पलक झपकते ही तेंदुआ खेतो से होते हुए गायब हो गया।
लगातार चौथी बार क्षेत्र में दिखा तेंदुआ

ग्राम के आसपास तेंदुआ चौथी बार दिखा है। ग्राम काकदा में फरवरी में तेंदुआ एक गाय के बछड़े को ले जा रहा था तब अंधेरे में तेंदुआ कुएं में जा गिरा था। वन विभाग ने तेंदुआ का रेस्क्यू ऑपरेशन करके उसे बाहर निकाला था और मांडू के जंगल में छोड़ दिया था। इसके अलावाा ग्राम उमरिया में 4 ग्रामीणों को घायल कर तेंदुआं कुए में जा गिरा था। तब भी तेंदुए का रेस्क्यू किया गया था पर कोई भी सफलता वन विभाग को नहीं मिली थी। अंधेरे में कुएं से बाहर निकलकर जंगल की ओर भाग निकला था। 2 दिसंबर को उमरिया के गावदपुरा में किसान हरचन्द्र अपने खेत में पानी दे रहा तब भी तेंदुआ दिखा था, लेकिन वन विभाग को तेंदुए के कोई भी पद चिन्ह नहीं मिले थे। शुक्रवार को किसान कमल को तेंदुए ने पूरी तरह घायल कर दिया।
अभी जो पदचिन्ह मिले है उसे अभी पूरी तरह स्पष्ट नहीं हो पा रहा है कि वह तेंदुआ ही था। किसान ने बताया है कि तेंदुआ वह ही था। हम लगातार सर्चिंग कर रहे हैं।
धर्मेंद्र राठौर, रेंजर
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