नगर के अजीज खान उद्योगपति है। उन्होंने मैकेनिकल से बीई किया है। वे फेब्रिकेशन का काम करते है। खान ने बताया मरीजों को लाने के लिए सबसे ज्यादा दिक्कतें ग्रामीण क्षेत्र से आती है। धार में कई मजर-टोले ऐसे है जहां से मरीज को लाने में खासी दिक्कतें आती है। इन्हीें दिक्कतों को ध्यान में रखते हुए उन्होंने मोटरसाइकिल के पीछे लगने वाली एक ट्राली बनाई। खान ने बताया कि लाकडाउन में सामान मिलना मुश्किल था। फैक्ट्री में पड़े सामानों की जुगाड से ट्राल बना दी। ट्राली के लिए विशेष शाकअप का इस्तेमाल किया जिससे मोटरसाइकिल अगर गडढे कूदे तो दिक्कतें ना हो। ट्राली में बेहतर बेड के अलावा तीन घंटे चलने वाला आक्सीजन सिलेंडर, जीवन रक्षक दवाईयां भी उपलब्ध है। खान ने बताया कि ट्राली 25 से 30 हजार में बन गई है। इसमें अभी और मोडिफिकेशन किया जा रहा है।
तीन दिन में आठ लोगों को मिला फायदा खान ने औद्योगिक क्षेत्र में फैक्ट्री के बाहर बोर्ड लगा दिया है। बोर्ड में लिखा है कि जिसे ट्राली की जरूरत है वह मोटरसाइकिल लेकर आ जाए। साथ ही डाक्टर की पर्ची भी अनिवार्य है। 26 से लेकर 29 अप्रेल तक आठ मरीजों को परिजन धार ला चुके है। ये मरीज उन ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले है जहां तक एंबुलेंस पहुंचना कठिन थी।