लखनऊ. शक्ति के प्रतीक हनुमानजी एक ऐसे देवता हैं, जिनका मंदिर हर स्थान पर आसानी से मिल जाता है। कलियुग में सबसे ज्यादा भगवान शंकर के ग्यारहवें रुद्र अवतार श्रीहनुमानजी को ही पूजा जाता है। इसीलिए, हनुमानजी को कलियुग का जीवंत देवता भी माना जाता है। आज पत्रिका उत्तर प्रदेश आपको कुछ विशेष मंदिरों के बारे में बता रहा है। ये हैं वो मंदिर- हनुमानगढ़ी, अयोध्या अयोध्या भगवान श्रीराम की जन्मस्थली है, जिसे रामनगरी के नाम से भी जाना जाता है। यहां का हनुमानगढ़ी मंदिर प्रसिद्ध है। यह मंदिर राजद्वार के सामने ऊंचे टीले पर बना है। मंदिर के चारों ओर साधु-संत निवास करते हैं। हनुमानगढ़ी के दक्षिण में सुग्रीव टीला व अंगद टीला है। मंदिर की स्थापना 300 साल पहले स्वामी अभयारामदासजी ने की थी। भक्तों का मानना है कि इस मंदिर में कई बार आतंकियों ने हमले करने की कोशिश की पर वे नाकाम रहे। ये भी पढ़िए- हे कृष्ण! क्या आपकी मौजूदगी में छल से मारे गए थे ये शूरवीर हनुमान मंदिर, इलाहाबाद (उत्तर प्रदेश) इलाहबाद किले से सटा यह मंदिर लेटे हुए भगवान हनुमान की प्रतिमा वाला प्राचीन मंदिर है। इसमें हनुमान जी लेटी हुई मुद्रा में हैं। मूर्ति 20 फीट लम्बी है। जब बारीश में बाढ़ आती है तो मंदिर जलमग्न हो जाता है। इलाहाबाद का हनुमान मंदिर श्रद्धालुओं के साथ पर्यटकों के भी आकर्षण का केंद्र है। भक्तों का कहना है कि हर साल यहां गंगा जी हनुमान जी को स्नान कराने आती हैं। श्री संकटमोचन मंदिर, वाराणसी (उत्तर प्रदेश) यह मंदिर उत्तर प्रदेश के वाराणसी शहर में है। इस मंदिर के चारों ओर एक छोटा सा वन है। मंदिर के प्रांगण में भगवान हनुमान की दिव्य प्रतिमा है। ऐसी मान्यता है कि हनुमानजी की यह मूर्ति गोस्वामी तुलसीदासजी के तप एवं पुण्य से प्रकट हुई स्वयंभू मूर्ति है। हनुमान धारा, चित्रकूट उत्तर प्रदेश में सीतापुर के पास यह हनुमान मंदिर है। यह पर्वतमाला के मध्य में है। हनुमान की मूर्ति के ठीक ऊपर दो कुंड हैं, जो हमेशा भरे रहते हैं। उनमें से पानी बहता रहता है। इस धारा का जल मूर्ति के ऊपर से बहता है। इसीलिए, इसे हनुमान धारा कहते हैं। संकटमोचन हनुमान मंदिर, हत्याहरण (उत्तर प्रदेश)यह प्राचीन मंदिर यूपी की राजधानी लखनऊ से करीब 80 किमी पश्चिम में हरदोई जिले के हत्याहरण तीर्थ स्थान पर स्थित है। हत्याहरण तीर्थ नैमिष क्षेत्र के अंतर्गत आता है। यहां हनुमान जी के नाम पर हर साल भादों के महीने में लाखों श्रद्धालु आते हैं और पवित्र तीर्थ में स्नान कर संकटमोचन हनुमान जी के दर्शन कर अपने जीवन को धन्य समझते हैं। इसके अलावा हर मंगलवार को भी यहां पर मेला लगता है। श्रद्धालुओं में मान्यता है कि यहां पर सच्चे मन से जो भी मनोरथ मांगे जाते हैं, हनुमान जी की कृपा से उनके सारे कष्ट दूर हो जाते हैं।