पत्ते : बुखार, कफ, सूजन, फुंसियां, संक्रमण, पेटदर्द, कीड़े व कब्ज जैसे रोगों में इसके पत्तों का 1-2 चम्मच रस एक चम्मच शहद से लेने से लाभ होता है।
फूल : इसके फूलों के एक गिलास रस को 1/4 होने तक गर्म करें। ठंडा होने पर प्रयोग करने से ऊपर दिए रोगों में फायदा होगा।
फल, छाल और जड़ –
5-8 ग्राम गीली छाल को कूटकर 1-3 चम्मच शहद में मिलाकर सुबह-शाम लेने से भूख बढ़ती है और जुकाम-खांसी दूर होते हैं। इसके फलों का 4-5 चम्मच रस गर्म पानी के साथ लेने से बुखार में लाभ होता है। इसके पेड़ की जड़ों से काढ़ा बनाकर सर्दियों में होने वाले रोगों में प्रयोग किया जाता है।