क्या है कीटो डाइट? कीटो डाइट का दूसरा नाम कीटोजेनिक डाइट भी है। इसे कीटो इसलिए कहा जाता है क्योकि इस डाइट में शरीर के कीटोन्स को एनर्जी के लिए इस्तमाल किया जाता है। कीटो डाइट में लोग हाई-फ़ैट पर निर्भर रहते है और कार्बोहाइड्रेट और प्रोटीन को बेहद ही कम मात्रा में ग्रहण करते है। लोग इस डाइट को ऐसे भी जानते है कि इसमें चीज़ (cheese) खाने को मिलती है।
कीटो डाइट में शरीर कार्बोहाइड्रेट की जगह फैट से ऊर्जा लेना शुरू कर देता है। दरअसल इस डाइट को अपनाने से शरीर का मेटाबॉलिक रेट तेज हो जाता है। यही वहज है जिससे वजन घटने में तेजी आती है।
कीटो डायट में क्या खाये पहले तो आप अगर कीटो डायट ले रहें हैं तो डॉक्टर से ज़रुर संपर्क करे और वो आपको जो डाइट प्लान बनाकर दे उसे फॉलो करें। अब बात आती है कि कीटो डायट में क्या चीज खाई जा सकती है और क्या नहीं। जैसे के हमनें बताया कि कीटो में आपको सबसे ज़्यादा फैट की चीजे खानी चाहिए। कीटो डाइट में 70-80% फैट, 5-10% कार्बोहाइड्रेट और 10-20% प्रोटीन लेना चाहिए।
कीटो डाइट के फायदे · कीटो डाइट से आपका वजन तो कम होता ही है, ये डायबिटीज़ के लिए भी लाभदायक होता है। ये डाइट शरीर में शुगर की मात्रा कम कर देता है जो डायबिटीज़ को रोकने में मदद करता है।
· अगर आप को ब्लड प्रेशर की बिमारी है तो ये डाइट हार्ट अटैक के खतरे को कम करता है। इससे एचडीएल कोलेस्ट्रॉल लेवल्स नियंत्रन में रहता है और यही कारण है कि बी.पी के मरीज़ भी इस डाइत का इस्तमाल कर सकते है।
· ये डाइट अल्जाइमर के रोग के लिए भी फायदेमंद है क्योकि इसमें अल्जाइमर करने की भी खुबी होती है। · इस डाइट को फॉलो करने से आपको थकान महसूस नहीं होती और आप ज़्यादा बिना कुछ खाये देर तक काम कर सकते हैं।
· बच्चों में पाये जाने वाले एपिलेप्सी रोग में भी ये डाइट लाभदायक होती है। कीटो डाइट के नुकसान · कीटो डाइट सही से ना की जाए तो इसके कई नुकसान भी हो सकते है।
· कीटो डाइट से आप के शरीर में ऐंठन भी होने लगती है। आपके शरीर में कुछ तत्वों की कमी होने लगती है। · शुरुआत में आपको कब्ज की समस्या हो सकती है क्योकि आपका शरीर इस डाइट का आदी नहीं होता है।
· कीटो डाइट से शरीर में हार्ट रेट ऊपर-नीचे होता रहता है। इससे आपको सांस लेने में भी परेशानी हो सकती है।