scriptप्रत्याशी घोषणा के साथ ही कांग्रेस में उठे बगावत के स्वर | Voices of revolt raised in Congress along with candidate announcement | Patrika News

प्रत्याशी घोषणा के साथ ही कांग्रेस में उठे बगावत के स्वर

locationडिंडोरीPublished: Nov 05, 2018 04:27:04 pm

Submitted by:

shivmangal singh

जिला पंचायत सदस्य कृष्णा उरैती, नप अध्यक्ष राजेश गुप्ता समेत सैकडों ने दिया इस्तीफा

Voices of revolt raised in Congress along with candidate announcement

Voices of revolt raised in Congress along with candidate announcement

डिंडोरी। कांग्रेस के प्रत्याशियों की सूची की घोषणा के साथ ही पार्टी के अंदर बगावत के स्वर फूटने लगे हैं जो विधानसभा चुनाव के लिये कांग्रेस को बडी चुनौती दे सकते हैं। शहपुरा विधानसभा से कांग्रेस नेत्री कृष्णा उरैती ने पार्टी के फैसले से दुखी होकर अपनी सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। कृष्णा के समर्थन में नगर परिषद के अध्यक्ष राजेश गुप्ता व अन्य पार्षदों ने भी इस्तीफा दिया है। नगर के सैकडों समर्थक रविवार को कृष्णा उरैती के घर में एकत्र हुये और सभी अपना इस्तीफा पार्टी से दिया है। कृष्णा उरैती ने बताया कि लगातार वह पार्टी में सक्रिय भूमिका में रह रही हैं कांग्रेस पार्टी के सदस्य के रूप में जिला पंचायत अध्यक्ष के अलावा लगातार जिला पंचायत सदस्य के रूप में निर्वाचित हो रही हैं। इसके अलावा पिछले वर्ष हुये नगरीय निकाय चुनाव में भी उन्होंने शहपुरा नगर परिषद में कांग्रेस का अध्यक्ष निर्वाचित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। निरंतर विपक्ष में रहते हुये भी उन्होंने पार्टी के लिये संघर्ष किया है। पिछली बार भी उन्हें विधानसभा टिकिट नहीं दी गई लेकिन इस बार उन्होंने अपनी दावेदारी प्रस्तुत की और वरिष्ठ नेताओं से निरंतर यही आश्वासन मिलता रहा कि उनकी सीट पक्की है और वह क्षेत्र में जाकर काम करें लेकिन एन वक्त पर उनकी टिकिट काट कर भूपेन्द्र मरावी को टिकिट दे दी गई जिससे वे काफी आहत हैं। कृष्णा का कहना है कि यदि पार्टी को टिकिट नहीं देना था तो पहले ही कह देना चाहिये था अभी तक वह उन्हें टिकिट का आश्वासन देते रर्र्हे। हर तरह के सर्वे में उनका परफारर्मेंस बढिया है और पार्टी के जनाधार के लिये वह निरंतर अपने समर्थकों के साथ क्षेत्र में सक्रिय हैं लेकिन पार्टी ने उनकी निष्ठा और समर्पण का यह सिला दिया है जिससे वह काफी आहत हैं और उन्होंने पार्टी की सदस्यता से इस्तीफा प्रदेश नेतृत्व को प्रेषित करने का मन बनाया। कृष्णा ने बताया कि क्षेत्र से उनकी दावेदारी हटाकर यहां भाजपा विधायक को वाक ओवर दिया गया है। वहीं उनके समर्थकों में भी पार्टी के फैसले को लेकर काफी गुस्सा है और वह अब कांग्रेस के लिये काम नहीं करना चाहते हैं। उनके आवास पर जुटे कार्यकर्ताओं की मानें तो उनकी नेता सिर्फ एक है और निरंतर उनके लिये वह यहां काम कर रहे हैं। विपक्षी दल का होने के बावजूद चुनावों में वह निरंतर विजयी हो रही हैं लेकिन पार्टी को यह दिखाई नहीं दे रहा है और सभी इस फैसले से काफी आहत हैं। विधानसभा चुनाव लडने के संबंध में कृष्णा ने कहा कि उनके वरिष्ठ कार्यकर्ता उनकी आगामी भूमिका तय करेंगे। नगर परिषद अध्यक्ष राजेश गुप्ता ने भी पार्टी नेतृत्व को खरी खोटी सुनाते हुये कहा कि पार्टी में निष्ठावान और जुझारू कार्यकर्ताओं की आवश्यकता नहीं है। टिकिट वितरण में किन मापदण्डों का पालन किया गया है यह किसी की समझ में नहीं आ रहा है। राजेश गुप्ता ने बताया कि अभी तक जिले में आये पर्यवेक्षकों सहित तमाम सर्वे रिपोर्ट में कृष्णा को ही सबसे उपयुक्त दावेदार बताया गया। कांग्रेस संगठन ने भी उन्हें अंधेरे में रखा निरंतर संपर्क में रहने के बाद उन्हें यहां से दावेदारी के लिये शत प्रतिशत आश्वस्त किया जाता रहा। राजेश गुप्ता ने कहा कि आज तो सैकडों कार्यकर्ता इस्तीफा दे रहे हैं जो सिर्फ नगर के हैं आगामी दिनों मे यह संख्या और बढेगी जब गांव गांव से इस्तीफे पहुंचेंगे। कुल मिलाकर टिकिट वितरण के बाद से कांग्रेस में असंतोष के स्वर उभरने लगे हैं। इस दौरान टिकिट की चाह रखने वाली प्रतिद्वंदी चंद्रकला परस्ते भी पहुंची और पार्टी के फैसले पर असंतोष जाहिर किया। उन्होंने पार्टी से इस्तीफे की घोषणा तो नहीं की अलबत्ता कार्यकर्ताओं से राय मशविरा के बाद फैसला लेने की बात कही। वहीं अन्य दावेदार रूपा उरैती ने कहा कि फिलहाल वह इस पर कुछ नहीं कहेंगी। पार्टी का जो भी निर्णय है उस पर उनकी चर्चा संगठन से चल रही है। वह संगठन के साथ हैं और कांग्रेस के लिये काम करेंगी। शहपुरा विधानसभा में फोकस कांग्रेस में अंदरूनी घमासान को लेकर है। जिसने इस सीट पर होने वाले घमासान को रोचक बना दिया है बहरहाल यहां पर सभी दावेदारों का अपना जनाधार है और भविष्य में उनकी भूमिका परिणामों पर बडा असर डालेगी। पूरे मसले पर जिलाध्यक्ष वीरेन्द्र बिहारी शुक्ला ने कहा कि टिकिट वितरण के बाद तत्कालिक असंतोष है जिसकी भरपाई शीघ्र कर ली जायेगी और सभी असंतुष्ट पार्टी हित में काम करेंगे।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो