स्पीच थैरेपी से ठीक होती भारी या पतली आवाज
जयपुरPublished: May 10, 2019 11:35:33 am
कई बार लड़कों के स्वरयंत्र में संरचनात्मक बदलाव तो होते हैं लेकिन व्यवहार में आवाज मोटी न होकर पतली ही रह जाती है, इसे प्यूूूबरोफोनिया कहते हैं।
लड़कों के शरीर में कई परिवर्तन होते हैं
किशोरावस्था से युवावस्था की ओर बढ़ते समय लड़कों के शरीर में कई परिवर्तन होते हैं, आवाज में बदलाव उन्हीं में से एक है। इस दौरान लड़कों के स्वरयंत्र के वोकलकोर्ड की लंबाई तेजी से बढ़ती है जिसकी वजह हार्मोंस भी होते हैं। कई बार लड़कों के स्वरयंत्र में संरचनात्मक बदलाव तो होते हैं लेकिन व्यवहार में आवाज मोटी न होकर पतली ही रह जाती है, इसे प्यूूूबरोफोनिया कहते हैं।
कारण : चूंकि स्वरयंत्र के ये बदलाव तेजी से होते हैं, जिनके साथ कई लड़के सामंजस्य नहीं बना पाते। वहीं हार्मोंस के असंतुलन से पुरुषों जैसे अन्य लक्षण प्रकट न होने या आत्मविश्वास में कमी होने पर भी ऐसा हो सकता है। इसके विपरीत एंड्रोफोनिया में लड़कियों की आवाज पुरुषों जैसी मोटी हो जाती है।
इलाज : इस समस्या को स्पीच थैरेपी (उचित ढंग से बोलने का अभ्यास कराकर) से ठीक किया जा सकता है। आवाज के कुछ व्यायाम व स्वरयंत्र पर दबाव कम करने के तरीके अपनाए जाते हैं। कुछ ही लोगों में थाइरोप्लास्टी फोनोसर्जरी की जाती है।
डॉ. शुभकाम आर्य, ई.एन.टी. विशेषज्ञ