छुई-मुई के पौधे के औषधीय गुणों के बारे में बहुत कम लोग ही जानते हैं। इसका पौधा कई समस्याओं जैसे आंखों के काले घेरे, आंतों के घाव, कब्ज, शारीरिक कमजोरी, नकसीर, नपुंसकता, नेत्र रोग, मधुमेह रोग, टॉन्सिल्स, पेट के कीड़े, पेट दर्द, फोड़े-फुंसी, बदहजमी, बवासीर, डायबिटीज को दूर करने में किया जाता है। जानते हैं इसके फायदे-
डायबिटीज- मधुमेह के रोगियों को को छुई-मुई का काढ़ा पिला सकते हैं। इससे काफी आराम मिलता है। इसे बनाने के लिए इसकी 100 ग्राम पत्तियों को 300 मिली. पानी में डालकर काढ़ा बनाएं और रोगी को
शारीरिक कमजोरी- तीन इलायची, तीन ग्राम छुई-मुई की जड़, तीन ग्राम सेमल की छाल को अच्छे से पीस लें। इसे एक गिलास दूध में मिलाकर रोजाना रात को सोने से पहले पीने से पुरुषों में शारीरिक कमजोरी दूर होती है।
भरते घाव -यदि किसी को घाव हो जाए तो छुई मुई की जड़ का 2 ग्राम चूर्ण दिन में तीन बार गुनगुने पानी के साथ पीने से घाव जल्दी भरने लगता हैं।
टॉन्सिल की समस्या -टॉन्सिल की समस्या होने पर छुई-मुई की पत्तियों को पीस कर दिन में दो बार गले पर लगाने से राहत मिलती है।