scriptडूंगरपुर: इस्तीफे की राजनीति में घिरती जा रही कांग्रेस | The case of locking the officers in the room | Patrika News

डूंगरपुर: इस्तीफे की राजनीति में घिरती जा रही कांग्रेस

locationडूंगरपुरPublished: May 20, 2022 10:24:32 am

Submitted by:

Vinay Sompura

कांग्रेस में फिर सामने आया बिखराव
बिछीवाड़ा प्रधान ने खोला अपनी ही पार्टी के विधायक के खिलाफ मोर्चा
इधर, विधायक समर्थकों ने भी दिया संगठनात्मक पदों से त्याग पत्र
अधिकारियों को कमरे में बंद करने का मामला

डूंगरपुर: इस्तीफे की राजनीति में घिरती जा रही कांग्रेस

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डूंगरपुर. ग्राम पंचायत सुरपुर में अधिकारियों को कमरे में बंद करने और इसके बाद विधायक गणेश घोघरा के इस्तीफे का मामला लगातार तुल पकड़ता जा रहा है। इस्तीफे की इस राजनीति में कांग्रेस खुद घिरती नजर आ रही है। एक तरफ विधायक के समर्थकों ने भी अपने संगठनात्मक पदों से त्याग पत्र दे दिया। वहीं दूसरी ओर कांग्रेस के ही बिछीवाड़ा पंचायत समिति प्रधान देवराम रोत ने प्रेसवार्ता कर विधायक घोघरा के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। उदयपुर में हुए चिन्तन शिविर में भारत जोड़ो का नारा देने के दो दिन बाद ही जिले में खुद कांग्रेस एक बार फिर टूटती बिखरती दिख रही है। उधर, भाजपा को तो मानो बैठे-बिठाए मुद्दा मिल गया।
विधायक के पक्ष में दिए इस्तीफे
डूंगरपुर. विधायक की ओर से इस्तीफे की घोषणा के बाद यूथ कांग्रेस के पदाधिकारियों ने भी उनके समर्थन में अपने पदों से इस्तीफा दे दिया। जिलाध्यक्ष दिनेश खोड़निया को भेजे इस्तीफे में पदाधिकारियों ने कहा कि विधायक घोघरा आम लोगों की समस्याओं को लेकर आवाज उठा रहे हैं, लेकिन प्रशासन उनकी आवाज को दबाने का प्रयास कर
रहा है। विधायक के समर्थन में डूगंरपुर ब्लॉक उपाध्यक्ष सैय्यद मोहम्मद इकबाल, यूथ कांग्रेस जिला महासचिव लक्ष्मण देवानी, विधानसभा उपाध्यक्ष रिजवान कुरैशी, सुंदर ताबियाड़, यूथ कांग्रेस नगरध्यक्ष निलेश पटेल, यूथ कांग्रेस महासचिव हसनैन शेख, यूथ सचिव अस्थान मकरानी, नगर सचिव सुमित व नगर उपाध्यक्ष मोहनलाल ने इस्तीफा दिया।
पंचायत चुनाव के बाद से चल रही रार
डूंगरपुर जिले में कांग्रेस में रार वैसे तो बहुत पुरानी है, लेकिन पिछले साल हुए पंचायतीराज चुनाव के बाद से गुटबाजी खुल कर सामने आई थी। पंचायत चुनाव में भाजपा को समर्थन देकर जिला प्रमुख-प्रधान बनवाने की बात को लेकर कांग्रेस के एक खेमे ने जमकर विरोध किया था। विधायक गणेश घोघरा उस समय इस अप्रत्याक्षित समझौते के समर्थन में थे। वहीं दूसरा खेमा इसके विरोध में। अब विधायक के खुद विवादों में घिरने पर दूसरा खेमा सक्रिय हो गया है।
उपखण्ड अधिकारी के खिलाफ भी मुकदमा दर्ज
डूंगरपुर ञ्च पत्रिका. ग्राम पंचायत सुरपुर में प्रशासन गांवों के संग अभियान के तहत आवेदन के बावजूद पट्टे जारी नहीं करने के मामले में सरपंच नर्वदा मनात की रिपोर्ट पर सदर पुलिस ने डूंगरपुर उपखण्ड अधिकारी मणिलाल तिरगर के खिलाफ पदीय कर्तव्यों में लापरवाही बरतने तथा जनप्रतिनिधि पर गलत आरोप लगाने का मुकदमा दर्ज कराया। पुलिस के अनुसार सरपंच ने रिपोर्ट में आरोप लगाया कि प्रशासन गांवों के संग अभियान के दौरान कुछ ग्रामीणों ने वर्षों से काबित भूमि के पट्टे जारी करने के लिए आवेदन किया था। उपखंड अधिकारी ने पदीय कर्तव्यों में लापरवाही करते हुए पट्टे जारी नहीं किए और प्रार्थिया पर गलत आरोप लगाए। १७ मई को हुए फॉलोअप शिविर में ग्रामीणों ने पूर्व में किए गए आवेदनों पर पट्टों की मांग की तो उनके खिलाफ झूठी रिपोर्ट दर्ज करा दी। उक्त रिपोर्ट पर पुलिस ने भादंसं की धारा १६६ एवं १६६ए के तहत प्रकरण दर्ज किया।
पत्रावलियां भेजी सीआईडी सीबी को
सुरपुर पंचायत भवन में अधिकारियों-कर्मचारियों को बंधक बनाने के मामले में तहसीलदार की ओर से दर्ज कराए प्रकरण की पत्रावलियां जांच के लिए सीआईडी सीबी जयपुर को भिजवाई गई हैं। पुलिस उपाधीक्षक राकेश शर्मा ने बताया कि सरपंच की ओर से उपखंड अधिकारी के खिलाफ दर्ज प्रकरण भी उसी घटनाक्रम से जुड़ा होने के कारण इसकी पत्रावलियां भी सीआइडी सीबी को प्रेषित की जा रही हैं।
‘अधिकारियों-कार्मिकों से माफी मांगे विधायक’ भाजपा ने सौंपा ज्ञापन
डूंगरपुर. भारतीय जनता पार्टी ने गुरुवार को विधायक के खिलाफ राज्यपाल के नाम ज्ञापन अतिरिक्त जिला कलक्टर को सौंपा। जिलाध्यक्ष प्रभु पण्ड्या के नेतृत्व में बड़ी संख्या में पदाधिकारी व कार्यकर्ता कलक्ट्रेट पहुंचे।
यहां सुरपुर में अधिकारियों को कमरे में बंद करने की घटनाक्रम पर जमकर रोष जताया। राज्यपाल के नाम दिए ज्ञापन में बताया कि विधायक का यह कृत्य गैर जिम्मेदाराना है। विधायक को सभी कमचारियों से माफी मांगनी चाहिए। ज्ञापन में विधायक को पद से हटाने की मांग की। साथ ही कहा कि विधायक आमजन को गुमराह कर रहे हैं। अगर इस्तीफा देना ही था तो राज्यपाल व विधानसभा अध्यक्ष को सौंपते। इस दौरान नगरपरिषद सभापति अमृतलाल कलासुआ, उपसभापति सुर्दशन जैन, पूर्व जिला प्रमुख माधवलाल वरहात, दिलीप नागदा, धनपाल जैन, नयन सुथार, पंकज जैन, मुकेश नागदा, राजकुमारी प्रजापत, गजेन्द्र जैन, शंकरलाल श्रीमाल, अनूप चौबीसा, भुपेन्द्र पालीवाल, सुरेश भाटिया, मोहनलाल जैन , नगीन जैन व नीलू रोत आदि मौजूद रहे।
निवर्तमान जिलाध्यक्ष का कहना. .
पूरे घटनाक्रम को लेकर मुख्यमंत्री एवं प्रदेश नेतृत्व को रिपोर्ट प्रेषित कर दी है। कांग्रेस के सभी पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं ने धैर्य बनाए रखने तथा बेवजह की बयानबाजी से दूर रहने की अपील की है। जहां तक विधायक का मामला है तो वे जनप्रतिनिधि है, जनता की आवाज उठाना उनका काम है। प्रशासन का आधी रात को मुकदमा दर्ज करवाना उचित नहीं है। – दिनेश खोड़निया, निवर्तमान जिलाध्यक्ष, कांग्रेस
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