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CM के गृह जिले में जमकर फल-फूल रहा अवैध प्लाटिंग का धंधा, नोटिस के बाद भी तन गई 17 अवैध कॉलोनियां, सरकार मौन

locationदुर्गPublished: Jan 17, 2022 08:25:07 am

Submitted by:

Dakshi Sahu

दुर्ग नगर निगम सीमा क्षेत्र में अवैध प्लाटिंग का काम धड़ल्ले से चल रहा है। पिछले 5 सालों में 27 से ज्यादा कॉलोनाइजर ने 100 एकड़ से ज्यादा जमीन पर अवैध प्लाटिंग कर लिया।

CM के गृह जिले में जमकर फल-फूल रहा अवैध प्लाटिंग का धंधा, नोटिस के बाद भी तन गई 17 अवैध कॉलोनियां

CM के गृह जिले में जमकर फल-फूल रहा अवैध प्लाटिंग का धंधा, नोटिस के बाद भी तन गई 17 अवैध कॉलोनियां

दुर्ग. नगर निगम सीमा क्षेत्र में अवैध प्लाटिंग का काम धड़ल्ले से चल रहा है। पिछले 5 सालों में 27 से ज्यादा कॉलोनाइजर ने 100 एकड़ से ज्यादा जमीन पर अवैध प्लाटिंग कर लिया। इनमें से 24 जगहों पर कॉलोनी भी खड़ी हो गई, लेकिन नगर निगम एक भी मामले में कार्रवाई नहीं कर पाई। एक साल पहले नगर निगम द्वारा राज्य शासन के निर्देश पर अवैध कालोनियों का सर्वे कराया गया था। इसमें इसका खुलासा हुआ था। यह रिपोर्ट शासन ने भी मंगाई थी, लेकिन वहां भी कार्रवाई आगे नहीं बढ़ पाई। इसके पहले निगम प्रशासन द्वारा वर्ष 2017 में भी अवैध प्लाटिंग की शिकायतों पर इसी तरह की जांच कराई गई थी। इसमें शहर के आउटर में बिना अनुमति व टाउन प्लानिंग के अप्रुवल के बिना प्लाटों की खरीदी बिक्री व कॉलोनी विकसित करने की जानकारी सामने आई थी। इस पर इन कॉलोनाइजर्स को नोटिस जारी कर दस्तावेज तलब किए गए, लेकिन कॉलोनाइजरों ने दस्तावेज प्रस्तुत नहीं किए।
नोटिस के बाद तन गई 17 कॉलोनियां
वर्ष 2017 में सर्वे में केवल 10 अवैध कॉलोनियां चिन्हित किए गए थे। जिन्हें नोटिस जारी कर जमीन राजसात करने की चेतावनी दी गई थी। इस दिशा में कार्रवाई भी शुरू की गई थी, लेकिन यह भी आगे नहीं बढी़। इस बीच एक साल पहले कराए गए सर्वे में अवैध कालोनियों की संख्या बढ़कर 27 हो गई। इस तरह 17 नई कॉलोनियां तन गई।
किसी कालोनी में भी नहीं मूलभूत सुविधा
नगर निगम के सर्वे में चिन्हित किए गए अधिकतर कालोनियों में लोगों के लिए कोई भी मूलभूत सुविधा उपलब्ध नहीं कराई गई है। कई कालोनियों में ठीक से सड़क तक नहीं है। वहीं कई कालोनियों में तो सड़क, पार्क, नाली और दूसरी जरूरत के लिए छोड़ी गई जमीन तक बेंच दी गई है।
निगम को बनानी पड़ती है सुविधाएं
जमीन कारोबारियों द्वारा बिना अनुमति प्लाटिंग कर बिजली, पानी, सड़क आदि की व्यवस्था किए बिना ही आम लोगों को बेच दिया जाता है। यहां नगर निगम को सड़क बनाकर अन्य जरूरी सुविधाएं पहुंचानी पड़ती है। कॉलोनी विकसित होने के बाद सड़क की जमीन पर ठेकेदार दावा करते हैं। इससे निगम को नुकसान उठाना पड़ता है।
ऐसे मामलों में यह है प्रावधान
बिना अनुमति व ले आउट प्लाटिंग अवैध माना जाता है। भूमि का अधिग्रहण व प्रबंधन अधिनियम की धारा 292 ग व 292 (च) में ऐसे जमीन का अधिग्रहित कर शासकीयकरण का प्रावधान है। इसी के तहत पहले कारोबारियों को नोटिस जारी किया गया था। नोटिस का जवाब नहीं दिए जाने पर एसडीएम न्यायालय में परिवाद दायर जमीन अधिग्रहित किया जाना है।
बदले 5 कमिश्नर, लेकिन कार्रवाई नहीं बढ़ी
वर्ष 2017 में तात्कालिन निगम कमिश्नर एसके सुंदरानी ने मामले की जांच करवाकर अधिग्रहण की नोटिस जारी किया था, लेकिन कार्रवाई पूरी होने से पहले जून 2018 को उनका तबादला हो गया। इसके बाद लोकेश्वर साहू, सुनील अग्रहरि, इंद्रजीत बर्मन कमिश्नर बनाए गए, लेकिन मामला आगे नहीं बढ़ा। अब हरेश मंडावी कमान संभाल रहे हैं। धीरज बाकलीवाल महापौर दुर्ग ने कहा कि ऐसे मामलों में जमीन राजसात करने का प्रावधान है। इसके तहत कार्रवाई भी शुरू की गई है, लेकिन कोरोना के संकट के कारण ये काम वांछित गति से आगे नहीं बढ़ी। जल्द ही इस दिशा में काम शुरू कराया जाएगा।
सर्वे में यहांअवैध कॉलोनियां
0 सिकोला भाठा सिकोला 39 अलग-अलग रकबा, कुल रकबा 80 एकड़
0 बोरसी खसरा नंबर 22 में अलग-अलग रकबा 11 एकड़
0 कर्मचारी नगर खसरा नंबर 1/300 व 3/474 रकबा 0.151 हेक्टेयर।
0 कातुलबोर्ड खसरा नंबर 16/12, रकबा 0.559 हेक्टेयर।
0 कातुलबोर्ड खसरा नंबर 16/38 रकबा 0.081 हेक्टेयर।
0 बोरसी खसरा नंबर 246/03 व 240, रकबा अस्पष्ट।
0 दुर्ग खसरा नंबर 34/7 एवं 35/1 रकबा 0.148 हेक्टेयर।
0 दुर्ग खसरा नंबर 101/3 रकबा अस्पष्ट।
0 बोरसी खसरा 394/17, 394/4 व 381/16 रकबा 1.275 हेक्टेयर।
0-खसरा नंबर 1319/3 व 1329/4 रकबा 0.222 हेक्टेयर।
0 दुर्ग खसरा नंबर 63/8, 65/9, 63/9, 65/10, 63/10, 65/11, 63/15, एवं 65/16 रकबा 0.06 हेक्टेयर।
0 खसरा नंबर 242/2 रकबा 0.170 हेक्टेयर।
0 उरला खसरानंबर 357/6 रकबा 0.1040 हेक्टेयर
0 उरला खसरा नंबर 357/4 रकबा 0.1040 हेक्टेयर
0 उरला खसरा नंबर 357/3 रकबा 0.1040 हेक्टेयर
0 उरला खसरा नंबर 357/5 रकबा 0.1040 हेक्टेयर
0 पोटियकला खसरा नंबर 164/36 रकबा 0.2520 हेक्टेयर
0 पोटियाकला खसरा नंबर 164/37 रकबा 0.2500 हेक्टेयर
0 पोटियाकला खसरा नंबर 164/38 रकबा 0.1200 हेक्टेयर
0 पोटियाकला खसरा नंबर 164/39 रकबा 0. 2220 हेक्टेयर
0 पोटियाकला खसरा नंबर 89/16, 122/2, 534/1 रकबा कुल 0.202 हेक्टेयर
0 पोटियाकला खसरा नंबर 89/396, 125/2, 534/3, 543/5, 543/9, 543/11 रकबा 0.591 हेक्टेयर
0 पोटियाकला खसरा नंबर 89/400, 125/4, 168/68, 534/5 रकबा 0.356 हेक्टेयर
0 पोटियाकला खसरा नंबर 89/399, 122/5, 168/4, 534/4, 543/7 रकबा 0.182 हेक्टेयर
0 पोटियाकला खसरा 190/3, 190/4, 190/6, 192/5, 192/3 रकबा 0.182 हेक्टेयर
0 उरला बघेरा खसरा नंबर 162/1, 341/1, 182/2, 179/7 रकबा अस्पष्ट
0 प्रियंका नगर खसरा नंबर 294/1 रकबा अस्पष्ट
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