दो नाबालिग आरोपियों को बाल संप्रेक्षण गृह भेजा गया। लेकिन थाने में तब हड़कंप मच गया जब एक नाबालिग आरोपी कोविड-19 पॉजिटिव आ गया। इसके बाद दुर्ग कोतवाली प्रभारी को पूरे थाने को सैनिटाइज कराना पड़ा। आरोपी को पकडऩे वाले पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों ने कोविड-19 टेस्ट कराया। गनीमत इतनी रही कि कोई पॉजिटिव नहीं हुआ। लेकिन इस घटना के बाद से आस-पास के सभी थाना में दहशत का माहौल है। पुलिस अधिकारी व कर्मचारी अपराधियों को गिरफ्तार करने से कतराने लगे है।
दुर्ग जिले के विभिन्न थाना क्षेत्रों में ड्यूटी कर रहे करीब 11 पुलिस अधिकारी व कर्मचारी कोरोना संक्रमण की चपेट में आ गए है। इसमें खुर्सीपार पदस्त उप निरीक्षक और एक आरक्षक का अस्पताल में भर्ती है। दोनों का उपचार चल रहा है। वहीं दुर्ग सीएसपी कार्यालय में पदस्थ 2 आरक्षकों का भी उपचार जारी है। अन्य प्रभावित स्टाफ आइसोलेट हैं।
कोविड संक्रमितों के लिए 10 सेंटर बनाए गए है। जहां कोरोना से संक्रमित लोगों का उपचार किया जा रहा। कई ऐसे स्थान है जहां कोरोना पॉजिटिव है उन्हें आइसोलेट किया गया है। आए दिन अस्पतालों में विवाद हो रहा है। व्यवस्था संभालने पुलिस आधी रात को पहुंच रही है। आश्चर्य की बात यह है कि उनके सुरक्षा को लेकर पुलिस विभाग के अला अधिकारियों द्वारा कोई इंतजाम नहीं किए गए है। अपने और परिवार की जान जोखिम में डालकर तैनात पुलिस अधिकारी और कर्मचारी वर्दी पहनकर ड्यूटी निभा रहे है।