केस-1
फोरम में रजत डेवलपर्स के संचालक अंजू उर्फ अंजय सुराना के खिलाफ सुंदर नगर भिलाई निवासी विजय नागदेव ने परिवाद पेश किया था। परिवाद में बताया गया था कि रजत डेवलपर्स द्वारा शांति नगर भिलाई स्थित प्रोजेक्ट रजत हाइट का नक्शा दिखाकर फ्लैट की बुकिंग की गई थी। बुकिंग राशि 3 लाख लेकर 18 महीने के भीतर सर्व सुविधायुक्त फ्लैट देने का वादा किया गया था, लेकिन फ्लैट तैयार कर नहीं दिया गया।
केस-2
वहीं लैंडमार्क एसोसिएट्स के संचालक सुभाष कुशवाहा के खिलाफ जामगांव एम, तहसील पाटन निवासी सरोज वर्मा ने परिवाद दाखिल किया था। परिवादी ने बताया था कि लैंडमार्क एसोसिएट्स के संचालक सुभाष कुशवाहा ने आनंद विहार फेस वन बोरसी दुर्ग स्थित प्रोजेक्ट में 4 बीएचके फ्लैट का इकरारनामा कर अग्रिम 2 लाख 1 हजार रुपए 20 अक्टूबर 2015 को लिए थे। लेकिन मकान बना कर नहीं दिया गया।
फोरम का फैसला
दोनों प्रकरणों पर विचारण के बाद फोरम ने बिल्डर्स के खिलाफ आदेश पारित किया है। फोरम ने रजत डेवलपर्स के संचालक अंजू उर्फ अंजय सुराना को परिवादी की बुकिंग राशि 3 लाख, मानसिक पीड़ा के लिए 20 हजार व वाद व्यय के रूप में 1 हजार भुगतान करने का निर्देश दिया है। वहीं लैंडमार्क डेवलपर्स के संचालक सुभाष कुशवाहा को फ्लैट बुकिंग की राशि 2 लाख 1 हजार के साथ मानसिक क्षतिपूर्ति के लिए 25 हजार व वाद व्यय 1 हजार रुपए का भुगतान करने का निर्देश दिया है।