कामधेनु विश्वविद्यालय अंजोरा से 2 प्रकरण आयोग के समक्ष सुनवाई के लिए रखा गया था। इनमें एक प्रकरण में अनावेदक ने आपत्ति दर्ज किया कि यह प्रकरण 3 वर्ष पुराना है। इस प्रकरण में आवेदिका की शिकायत पर लागातार विभागीय जांच और कार्यवाही लंबित है। आवेदिका द्वारा आयोग को एक सीडी प्रस्तुत किया गया है। उक्त सीडी का आडियो अनावेदक को सुनाया गया जिसमें उन्होंने अपनी आवाज बताया। आवेदिका के द्वारा आडियो के समर्थन में किसी प्रकार का कोई गवाह व तथ्य प्रस्तुत नहीं किया गया है। दोनों पक्षकारों ने गवाह प्रस्तुत करने के लिए आगामी तिथि का मांग की।
अंजोरा विश्वविद्यालय के एक दूसरे प्रकरण में बताया गया कि यह मामला उच्च न्यायालय में चल रहा है। इस प्रकरण में अनावेदक व विश्ववद्यालय के द्वारा आवेदक पर प्रकरण वापस लेने का दबाव डाला जा रहा है। आयोग द्वारा आवेदिका को समझाइश दी गई कि अपने शिकायत को संशोधित करते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति और कुलसचिव को भी पक्षकार बनाते हैं तो आयोग द्वारा आगामी सुनवाई की जाएगी।
एक अन्य प्रकरण में किराएदार के द्वारा मकान खाली नहीं कराए जाने से संबंधित था। जिसमें आवेदिका के पति की मृत्यु हो जाने पर उनके नाम पर बने मकान में किराएदार अनावेदिका द्वारा अपना कब्जा कर रखा गया है। साथ ही पिछले 2 साल का किराया भी नहीं दिया गया है। साथ ही साथ किराएदार द्वारा मकान खाली भी नहीं किया जा रहा है। आयोग द्वारा किराएदार को समझाइश दिया गया कि किराया नामा के आधार पर मालिकाना हक प्राप्त नहीं किया जा सकता। आयोग ने दोनों पक्षकारों का आपसी समझौता कर मामले का निपटारा करने कहा है।