1.बहुत से लोग हनुमान चालीसा पढ़ते समय पर जमीन पर बैठ जाते हैं, लेकिन खाली फर्श पर बैठना गलत है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार बजरंग बाण का पाठ हमेशा कुशा या ऊन के आसन पर ही बैठकर पढ़ना चाहिए। वरना पूजन का फल नहीं मिलता है।
2.अगर आपने किसी रजस्वला महिला का स्पर्श किया है या उसके दिए सामान का इस्तेमाल किया है और आपने बिना वस्त्र बदलें बजरंग बाण पाठ किया तो इससे हनुमान जी नाराज हो सकते हैं। क्योंकि वो ब्रम्हचारी हैं और स्त्री का साया उनकी पूजा के फल को कम कर सकता है।
3.बजरंग बाण के जप का पूर्ण फल तभी मिलेगा जब भक्त लाल वस्त्र धारण करके इसे पढ़ें। क्योंकि लाल रंग हनुमान जी का पसंदीदा रंग है। 4.बहुत से लोग पूजा-पाठ करते समय भी दूसरों को कोसते रहते हैं। मगर बजरंगबाण का पाठ करते समय दूसरों के बारे में गलत सोचना आपको भारी पड़ सकता है। इससे आपको अशुभ फल मिल सकते हैं।
5.बजरंगबाण का पाठ करते समय हमेशा पहले ध्यान श्रीराम का करें। क्योंकि उनकी आराधना के बिना आपका पूजा का पूर्ण फल नहीं मिलेगा। 6.कई लोग मंदिर में जाकर बजरंगबाण का पाठ करते हैं, ऐसे में दीपक नहीं जलाते हैं। मगर मंत्रोच्चारण का फल तब ही मिलता है जब दीया जलाया गया हो। मनोकामना की पूर्ति के लिए हनुमान जी के सामने चमेली के तेल का दीपक जलाएं।
7.बजरंगबाण का पाठ शत्रुओं से बचाता है, इसलिए इस मंत्र का जप करने से पहले हनुमान जी को लाल पुष्प अर्पित करें। इससे पूजन का फल दोगुना मिलेगा। 8.पाठ करते समय कभी भी मांसाहारी भोजन न करें। क्योंकि हनुमान जी ब्रम्हचर्य का पालन करते थे और सात्विक रहते थे। ऐसे में नॉनवेज खाकर बजरंगबाण का पाठ करने से फायदे की जगह नुकसान हो सकता है।