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केयर रेटिंग की रिपोर्ट
रिपोर्ट के अनुसार वित्त वर्ष 2021 में भारत की जीडीपी ग्रोथ 1.1 फीसदी से 1.2 फीसदी के रहने की संभावना है। जिसमें और भी गिरावट देखने को मिल सकती है। रिपोर्ट में इस बात का भी जिक्र किया गया है कि इकोनॉमी को सरकार और एग्रीकल्चर सेक्टर से मदद मिल सकती है, लेकिन इसके विपरीत बाकी सेक्टर बड़ा दबाव कायम रहने की संभावना है। केसर रेटिंग की रिपोर्ट की मानें तो मौजूदा वित्त वर्ष में माइनिंग, मैन्यूफैक्चरिंग और कंस्ट्रक्शन सेक्टर में कमजोरी की संभावनाएं बन रही है। वहीं दूसरी ओर फाइनेंशियल सर्विसेस, रियल एस्टेट और प्रोफेशनल सर्विसेस में 0.5 फीसदी का इजाफा देखने को मिल सकता है। वहीं देश की अर्थव्यवस्था को डिमांड और इंप्लोयमेंट के मामले में काफी चैलेंजिस देखने को मिल सकते हैं।
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इंवेस्टमेंट पर भी पड़ेगा असर
वहीं दूसरी ओर कोरोना वायरस की वजह से इंवेस्टमेंट पर भी बुरा असर देखने को मिल सकता है। रिपोर्ट में अनुमान लगाया है कि मौजूदा समय में सरकार कैपिटल एक्सपेंडीचर पर ध्यान ना देकर राहत पैकेज और उपायों पर फोकस करेगी। वहीं वैश्विक मंदी की वजह से फॉरेन ट्रेड पर भी नकारात्मक असर देखने को मिलेगा। रिपोर्ट के अनुसार सरकार काफी प्रतिबंधों के कारण 1 लाख करोड़ रुपए प्रति माह के जीएसटी कलेक्शन के टारगेट को पूरा करने में सक्षम नहीं होगी।