नई दिल्लीPublished: Jul 22, 2018 04:10:30 pm
Saurabh Sharma
डीबीएस की रिपोर्ट के अनुसार 10 एशियार्इ देशों की इकॉनमी लगभग 28,000 ट्रिलियन अमरीकी डॉलर के करीब होगी, जबकि अमरीका की इकॉनमी 22.33 ट्रिलियन डॉलर होगी।
अमरीका के लिए भारत बना सबसे बड़ा खतरा, यह होगी सबसे बड़ी वजह
नर्इ दिल्ली। भारत दुनिया की सबसे उभरती हुर्इ अर्थव्यवस्था है। कर्इ आर्थिक संस्थाएं इस बात की पुष्टी भी कर चुकी है। जिसकी वजह से कर्इ आर्थिक रूप से मजबूत देशों को अब खतरा होने लगा है। अब जिस देश को सबसे बड़ा खतरा हुआ है वो अमरीका है। एक रिपोर्ट के अनुसार भारत समेत एशिया के 10 मिलकर अमरीका की जीडीपी को पीछे छोड़ देंगे। जिसमें सबसे बड़ा योगदान भारत आैर चीन का होगा। आपको बता दें कि मौजूदा समय में भारत की इकोनाॅमी के मामले में छठे स्थान पर है। जबकि चीन का स्थान दूसरा है।
भारत समेत ये हैं वो दस देश
डीबीएस ने यह रिपोर्ट जारी की है। रिपोर्ट के अनुसार मुताबिक चीन, हॉन्ग कॉन्ग, भारत, इंडोनेशिया, मलयेशिया, फिलीपींस, सिंगापुर, साउथ कोरिया, ताइवान और थाईलैंड जैसे देश मिलकर अमरीका को पीछे छोड़ देंगे। रिपोर्ट के अनुसार इन देशों की इकॉनमी लगभग 28,000 ट्रिलियन अमरीकी डॉलर के करीब होगी, जबकि अमरीका की इकॉनमी 22.33 ट्रिलियन डॉलर होगी। मौजूदा समय में अमरीका की इकोनाॅमी 18.57 ट्रिलियन है।
सुनहरा है एशिया का भविष्य
डीबीएस की रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि महज यह स्थिति ही एशिया में निवेश के लिए काफी नहीं होगी। इसके लिए कुछ और भी जरूरी हैं। जीएफएस कंपनी के अनुसार एशिया का आर्थिक भविष्य काफी सुनहरा है। वहीं रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि एशियाई देशों को कुछ चुनौतियों का भी सामना करना पड़ेगा। जैसे क्लाइमेट चेंज, बढ़ती असमानता, खराब होता पर्यावरण और तकनीकी बाधाओं के चलते ग्रोथ के आंकड़े पिछड़ भी सकते हैं।
तेजी बढ़ी है अर्थव्यवस्था
डीबीएस की रिपोर्ट के अनुसार बीते कई सालों में एशिया के इन देशों ने तेजी प्रगति की है। इन देशों की अर्थव्यवस्थाओं में तेजी भी देखने को मिली है। इसके अलावा अंतरराष्ट्रीय माहौल में भी पहले के मुकाबले काफी बदलाव आ गया है।’ रिपोर्ट में कहा गया है कि भले ही इन देशों को बड़ी आबादी के चलते पिछले सालों में फायदा हुआ है, लेकिन भविष्य में ऐसा नहीं होने वाला है। आपको बता दें कि पिछले दिनों वर्ल्ड बैंक की रिपोर्ट में भारत की इकोनाॅमी को छठे स्थान पर बताया था। भारत ने फ्रांस को पीछे छोड़ा था।