अक्टूबर 2017 में आमंत्रित किए थे अभिरुचि पत्र पिछले साल अक्टूबर में अभिरुचि पत्र आमंत्रित किए गए थे, लेकिन सिर्फ एक वैध अभिरुचि पत्र आने के कारण विनिवेश परवान नहीं चढ़ सका। सरकारी नियमों के अनुसार, सिर्फ एक खरीदार होने की स्थिति में बोली प्रक्रिया आगे नहीं बढ़ाई जा सकती। इसलिए पवनहंस के लिए बोली प्रक्रिया दोबारा शुरू की जानी है। नागरिक उड्डयन मंत्रालय के नोटिस में कहा गया है कि इस विषय पर 13 अक्टूबर 2017 को अभिरुचि पत्र आमंत्रित करने के लिए जारी प्राथमिक सूचना पत्र रद्द कर दिया गया है। मंत्रालय ने कहा है कि इस संबंध में जल्द ही आगे विवरण जारी किए जाएंगे। इससे पहले इसी सप्ताह नागरिक उड्डयन राज्य मंत्री जयंत सिन्हा ने भी कहा था कि पवनहंस के लिए अभिरुचि पत्र जल्द आमंत्रित किये जाएंगे।
श्रमिक संगठन कर रहे विरोध सरकारी हेलिकॉप्टर कंपनी पवन हंस को बेचने की सरकार की कोशिशों का श्रमिक संगठन विरोध कर रहे हैं। पवन हंस हेलीकॉप्टर के कर्मचारियों के संगठन ऑल इंडिया सिविल एविएशन एंप्लाइज यूनियन ने सरकार को सीधी बिक्री के बजाए पहले तैयार की गई पंचवर्षीय योजना पर अमल करने की सलाह दी है। इस संबंध में कर्मचारी संगठन के प्रतिनिधि उड्डयन मंत्री सुरेश प्रभु से भी मुलाकात कर ज्ञापन सौंप चुके हैं। कर्मचारी संगठनों ने सुरेश प्रभु से मुनाफे में रहने वाली कंपनी को निजी हाथों में नहीं सौंपने की गुहार लगाई है।