उन्होंने बताया कि छात्र-छात्राओं के बीच जल संरक्षण और जल के महत्व विषय पर चित्रांकन, निबंध और प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिताएं आयोजित करने का निर्देश दिया गया है। इससे बच्चों में जल संचयन को लेकर उत्सुकता बढ़ेगी। ङ्क्षसह ने बताया कि प्रतियोगिता में सर्वश्रेष्ठ स्थान प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को पुरस्कृत कर उनका हौसला बढ़ाया जाएगा। शिक्षा विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि इसके लिए प्रारंभिक, माध्यमिक और उच्च माध्यमिक विद्यालयों में होने वाली प्रतियोगिता के विषयों का भी चयन कर लिया गया है। इसमें जल संचयन प्रणाली, सोख्ता, जलचक्र सहित विभिन्न विषय चयनित किए गए हैं।
विभागीय सूत्रों का कहना है कि जल संचयन को लेकर पुस्तकों की पाठ्य सामग्री में भी बदलाव करने की योजना बनाई गई है। अब पाठ्य सामग्री में जल संचय को शामिल कर बच्चों को इसकी विस्तृत जानकारी दी जाएगी। विद्यालय शिक्षा समितियों की बैठक में भी जल संचय और जल सरंक्षण पर चर्चा करने का निर्देश दिया गया है, जिससे समाज के लोगों को भी पानी बचाने को लेकर जागरूक किया जा सके।