झाबुआPublished: Nov 13, 2023 10:34:22 am
Manish Gite
झाबुआ जिला: रोजगार के अभाव में आदिवासी युवा कर रहे पलायन, पलायन और सामान्य वर्ग की पीड़ा पर दोनों दलों ने साध रखी है चुप्पी
कांग्रेस का गढ़ माने जाने वाली झाबुआ सीट पर इस बार पूर्व केंद्रीय मंत्री कांतिलाल भूरिया (kantilal bhuria) की साख दांव पर है। कांग्रेस ने उनके बेटे डॉ. विक्रांत (dr vikrant bhuria) को मैदान में उतारा है। उन्हें कड़ी चुनौती भाजपा प्रत्याशी भानू भूरिया (bhanu bhuria) दे रहे हैं। असली-नकली आदिवासी को लेकर दलों का द्वंद्व अब चुनावी मुद्दा बनने लगा है, क्योंकि भाजपा प्रत्याशी ने कांग्रेस प्रत्याशी को नकली आदिवासी बताकर चुनौती दे डाली है। आदिवासियों का पलायन और भू-राजस्व संहिता की धारा 165 (6) ख मुख्य मुद्दा है, लेकिन दोनों दलों ने इन मुद्दों पर चुप्पी साध रखी है। रोजगार के लिए जहां युवा अपनी माटी और घर-परिवार छोड़ने को विवश हैं।