बीजेपी ने बंगाल में वैक्सीन को लेकर बड़ी घोषणा की है। बीजेपी ने दावा किया है कि सत्ता में आने पर बंगाल में सभी लोगों को मुफ्त वैक्सीन (Free Vaccine) दी जाएगी। हालांकि, राज्य में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस (TMC) ने इस वादे पर पलटवार करते हुए इसे जुमला करार दिया है।
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पीएम मोदी बोले- देश में आ रहा है रिकॉर्ड निवेश, बंगाल के विकास में इस्तेमाल होगा बड़ा हिस्सा पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में बाकी बचे दो चरणों के मतदान से पहले फ्री वैक्सीन की गूंज सुनाई दे रही है। तृणमूल कांग्रेस प्रमुख और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के ऐलान के बाद अब बीजेपी ने भी प्रदेश में अपनी सरकार आने पर मुफ्त कोरोना टीका लगाने का वादा किया है।
सातवें चरण के चुनाव प्रचार के अंतिम दिन बीजेपी ने कहा ‘जैसे ही बीजेपी सरकार पश्चिम बंगाल में सत्ता में आएगी, सभी को मुफ्त में कोविड-19 वैक्सीन दी जाएगी।’ हालांकि टीएमसी ने बीजेपी के इस वादे को जुमला करार देते हुए याद दिलाया है कि अब तक बीजेपी बिहार का वादा तो पूरा कर नहीं पाई बंगाल की जनता को कैसे फ्री वैक्सीन देगी।
टीएमसी का कहना है कि बीजेपी सरकार ने बिहार में मुफ्त वैक्सीन के वादे को भुला दिया है। इसके संबंध में टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने कहा- बंगाल में बीजेपी का फ्री वैक्सीन का जुमला दो चरणों के साथ जारी है। याद रखें कि बीजेपी ने बिहार में क्या किया था।’ उन्होंने चुनाव के दौरान मुफ्त वैक्सीन का वादा किया था। चुनाव खत्म हुए और वे अपने वादे को भूल गए।
टीएमसी नेता ने कहा कि बीजेपी के वादों पर भरोसा ना करें। इसके साथ ही ब्रायन ने दोहाराया कि टीएमसी प्रदेश के सभी 18 वर्ष से अधिक उम्र वालों को फ्री वैक्सीन उपलब्ध करवाएगी।
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West Bengal Assembly Elections 2021 नदिया के इस पार, अब मुकुल रॉय पर आर-पार वहीं मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने चुनाव आयोग से सवाल किया है। ममता ने पूछा है कि आखिर क्यों चुनाव आयोग ने बंगाल में रैलियों पर प्रतिबंध तब लगाया जब पीएम मोदी ने अपनी रैलियां रद्द कीं। जबकि प्रदेश में पहले ही कोरोना संक्रमण तेजी से फैल रहा था और हालात बिगड़ रहे थे, उस वक्त चुनाव आयोग ने कड़ा कदम क्यों नहीं उठाया।
ममता ने कहा कि चुनाव आयोग को ये निर्णय काफी पहले ही ले लेना चाहिए था। मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि चुनाव आयोग वही कर रहा है जो उसे बीजेपी से निर्देश मिल रहे हैं। हमने बाकी बचे चरणों का एक साथ मतदान का आग्रह किया, लेकिन चुनाव आयोग ने इसे नहीं माना।
हालांकि सीएम ममता ने कहा कि हम प्रदेश की जनता के लिए चुनाव आयोग के इस निर्णय के साथ हैं और कोरोना नियमों को कड़ाई से पालन करेंगे।