scriptसभापति पद के लिए प्रत्याशी हुए भूमिगत | Candidate for the post of Chairman of the underground | Patrika News

सभापति पद के लिए प्रत्याशी हुए भूमिगत

locationराजसमंदPublished: Jan 26, 2016 03:03:00 am

मतदान के साथ ही नगरपरिषद में सभापति बनाने को लेकर चल रही जोर आजमाइश में भाजपा व कांगे्रस के

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राजसमंद।मतदान के साथ ही नगरपरिषद में सभापति बनाने को लेकर चल रही जोर आजमाइश में भाजपा व कांगे्रस के तमाम प्रत्याशी भूमिगत हो गए। भाजपा के प्रत्याशी दो अलग अलग धड़ों में विभक्त हो गए, जबकि कांगे्रस के सभी प्रत्याशी एक साथ है। अब तक दोनों ही दल के नेता व प्रत्याशी किसी एक को सभापति चुनने को लेकर एकमत नहीं है, जिससे आपसी खींचतान कई हद तक बढ़ गई। जिला व प्रदेश के बड़े नेताओं के इशारे पर सभी प्रत्याशी भ्रमण पर है।

वार्ड 23 में पारस भील का निर्विरोध निर्वाचन तय होने के बाद शेष 34 वार्ड पार्षद चुनने के लिए रविवार को मतदान प्रक्रिया पूर्ण होते ही भाजपा, कांगे्रस के सभी प्रत्याशी भूमिगत हो गए। पारस भील तो मतदान से पहले ही पीएचईडी मंत्री किरण माहेश्वरी के साथ ही थी, जो लोगों में चर्चा का विषय रहा। दोनों ही राजनीतिक दलों के प्रमुख नेताओं के नेतृत्व में अधिकांश प्रत्याशियों की बाड़ाबंदी कर ली गई, जिनके मोबाइल स्वीच ऑफ कर एकांत जगह ले जाया गया। अब सभापति चुनाव के लिए 30 जनवरी को ही पहुंचने की संभावना है। हालांकि कांगे्रस रोहित पंचोली के साथ कुछ अन्य प्रत्याशी भी शामिल नहीं हुए, जिससे लोग हार- जीत को लेकर कई तरह के तर्क- वितर्क कर रहे हैं। इधर, भाजपा में धोइंदा क्षेत्र के चार वार्ड प्रत्याशियों के अलग जगह भूमिगत है, तो करीब तीस प्रत्याशी मंत्री किरण माहेश्वरी के इशारे पर अलग जगह होने की चर्चा रही।

समर्थकों ने ली चैन

भाजपा, कांगे्रस के साथ निर्दलीय प्रत्याशियों के समर्थन में अधिकाधिक वोट प्राप्त करने के लिए प्रचार प्रसार व जनसंपर्क कर रहे समर्थकों ने सोमवार को राहत की सास ली। लगातार दो तीन रात से कई समर्थक तो सो भी नहीं पाए, जो सोमवार को दिनभर घर पर आराम करते रहे।

हाथाजोड़ी

मतदान के रुझान को भांपकर दोनों दलों के प्रत्याशी व नेता निर्दलीय से हाथाजोड़ी में जुटे हुए हैं। ज्यादातर निर्दलीय उम्मीदवार भाजपा व कांगे्रस के ही बागी है और इसलिए बड़े नेता उन्हें मनाने में जटे हैं।

वोट में ऊंच-नीच

वार्ड तेरह की मतदाता सूची में 15 मृतकों के नाम नहीं हटे, जबकि 20 मतदाताओं के नाम अन्य वार्डों में भी होने से निरस्त हो गए। 35 मतदाता के घटने से एक हजार 23 में से 925 वोट पड़े, जिससे 90.42 फीसदी मतदान हुआ, जो वार्ड 14 के बाद सर्वाधिक है।
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