मातृवेदी की स्थापना चंबल के बीहड़ों में ही हुई थी। शाह आलम ने बीहड़ में करीब 2800 किलोमीटर साइकिल यात्रा के जरिए यहां के क्रांतिकारी इतिहास का दस्तावेज तैयार किया है। पूर्व सीएम अखिलेश ने इस साइकिल यात्रा और दस्तावेज की सराहना की और क्रांतिकारियों के इतिहास को जनता के सामने लाने के लिए कई सहयोग का भी आश्वासन दिया। शाह आलम ने कहा कि चम्बल से उनका विशेष लगाव है वे उसकी बेहतरी के लिए हर सम्भव कोशिश करेंगे।
शाह आलम के प्रस्ताव पर अखिलेश ने चंबल संग्रहालय, चंबल इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल, सुनील जाना स्कूल आफ फोटोग्राफी, चंबल जनसंसद पर चर्चा के साथ चंबल रेजीमेंट पर भी सहयोग की सहमति जताई। साइकिल यात्रा में अखिलेश करेंगे सहयोग
वहीं, शाह आलम ने अखिलेश यादव को चंबल अभियान के दूसरे चरण में पचनद घाटी के. आसिफ स्कूल आफ फिल्म स्टडीज, कर्मवीर सुंदरलाल स्कूल आफ डिजीटल मीडिया के साथ चंबल प्रकाशन शुरु करने की योजना से अवगत कराया। शाह आलम अपनी ड्रीम परियोजना चंबल यूनिवर्सिटी और चंबल रेजीमेंट के लिए साइकिल यात्रा करने वाले हैं। अखिलेश ने इसमें भी सहयोग देने की बात कही है।