देश में पहली बार निकाली जा रही इस यात्रा को लेकर के तरह-तरह की बातें भी कही जा रही हैं। कई लोग इस तरीके के सवाल भी उठाते हुए दिख रहे हैं जिनका तर्क है कि राजनेताओं ने महापुरुषों के नाम पर यात्राओं को वोट लेने के इरादे से निकाली हुई है। हालांकि वह यात्राएं काफी पहले से निकलती रही हैं, लेकिन रामभक्त हनुमान की यात्रा पहली दफा निकलने से तमाम तरह के सवाल खड़े होते नजर आ रहे हैं।
हनुमान की शोभायात्रा के नाम पर एक नई परंपरा का शुभारंभ किया जा रहा है जिसको लेकर लोग आश्चर्यचकित हैं, हालांकि इस यात्रा को निकालने वाले हिन्दू युवा वाहिनी के पदाधिकारी इससे साफ इंकार करते हैं कि उनका कोई इरादा वोट के लिहाज से है।
श्री हनुमान शोभा यात्रा को लेकर शहर के कई हिस्सों में बैनर लगाए गए हैं जिसकी चर्चाएं पूरे शहर भर में हो रही हैं। एसएसपी चौराहे पर 25 सितम्बर (बुढ़वा मंगल) हनुमान शोभा यात्रा निकाले जाने का पोस्टर देख आश्चर्यचकित बने हुए। इस यात्रा के मुख्य अतिथि इटावा सदर की भाजपा एमएलए सरिता भदौरिया और भाजपा के जिला अध्यक्ष शिवमहेश दुबे हैं। इटावा के नगर मजिस्टेट कार्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक शोभा यात्रा को लेकर पुलिस रिर्पोट आ गयी है जो इस यात्रा के पक्ष में आई है फिर भी अभी तक इस प्रस्तावित यात्रा को प्रशासनिक अनुमति नहीं मिली है, लेकिन जिस तरीके के पोस्टर लगाए गए हैं।
हिन्दू युवा वाहिनी के जिला प्रभारी राजेन्द्र प्रजापित का कहना है कि हम हिंदू युवा वाहिनी के तहत यह पहला कार्यक्रम कर रहे हंै। कई शोभा यात्राएं निकलती हैं लेकिन हनुमान शोभा यात्रा का यह आयोजन जिले में पहली दफा हो रहा है। यात्रा का मुख्य मकसद जाति छोड़ों हिन्दू जोड़ो है। यात्रा के आयोजन के संबंध में पूरे जिले भर से लोगों को जोडऩे के लिहाज से 40 टीमें भ्रमण पर हैं। जो ब्लाक, तहसील ओर विधानसभा स्तर पर जुटी हुई हैं।
हिन्दू युवा वाहिनी के जिला महामंत्री शैलेंद्र तोमर का कहना है कि श्री राम जी के भक्त हनुमान जी हंै हमेशा उनका साथ है। बाल ब्रहमचारी राम भक्त हनुमान जी हिंदुत्व के सबसे बड़े पुजारी हैं इस वजह से हनुमान शोभा यात्रा निकालने का निर्णय लिया गया है।
इटावा के के कालेज के जंतु विज्ञान विभाग के पूर्व प्रमुख और वरिष्ठ लेखक दिनेश पालीवाल का कहना है कि मेरा ऐसा खयाल है पुरानी जो भी यात्राएं चल रही हैं वो सब मजबूरी से चल रही हैं लेकिन नई यात्राओं से खामखा हमारी जनता को तकलीफ ही होती है। तमाम जगह घिर जाती हैं, सड़को की व्यवस्था बिगड़ जाती है। इस तरह के प्रचार तंत्र को व्यर्थ में बढ़ावा नहीं देना चाहिए।
इटावा के वरिष्ठ साहित्यकार नेम सिंह रमन का कहना है कि अगर इसी तरह से शोभा यात्राओं की तादाद बढ़ाते रहें तो आगे आने वाले वक्त में विभिन्न प्रकार की कठनाईयों का सामना करना पड़ेगा। इस तरह की यात्राओं को बढ़ावा नहीं दिया जाना चाहिये। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के मंत्री प्रेम शंकर यादव का कहना है कि किसी भी तरह की धार्मिक यात्रा के हम पूरी तरह से खिलाफ हैं। अगर यात्रा निकालनी है तो उन महापुरुषों की निकालो जिन्होंने समाज के लिए कुछ किया है। समाज में फैली कुरीतियों को खत्म करने की दिशा में इन युवाओं को काम करना चीहिये ना कि इस तरह से भ्रमित करने वाली यात्राएं निकालनी चाहिए।