नायडू ने प्रवासी भारतीय समुदाय से न्यू इंडिया के निर्माण में सक्रिय भागीदार बनने की अपील की और उनसे भारत में निवेश और नवाचार के लिए उपयुक्त अवसरों का लाभ उठाने को कहा। उन्होंने कहा, “प्रवासी भारतीय समुदाय के लिए सक्रिय रूप से अपनी जड़ों से जुड़ने का भी यह सही समय है।” उन्होंने विज्ञान और प्रौद्योगिकी, उद्योग, कृषि, कला, संस्कृति, शासन या राजनीति के क्षेत्र में प्रवासी भारतीय समुदाय के योगदान की सराहना करते हुए कहा कि उनका यह योगदान और सफलता फ्रांस के साथ-साथ उनके अपने देश भारत के लिए भी गर्व की बात है। उन्होंने कहा, ” विदेशों में निवासी करने वाले भारतवंशियों ने फ्रांस में सार्वजनिक जीवन के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य किया है। इनमें से कई फ्रांस और यूरोपीय संसद में सांसद भी हैं।”
फ्रांस के साथ भारत के दीर्घकालीन और परस्पर मजबूत संबंध की याद दिलाते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि रवींद्रनाथ टैगोर के विचारों से कई फ्रांसीसी विचारक प्रभावित हुए थे। उन्होंने कहा कि मैडम भीकाजी कामा और जेआरडी टाटा जैसे भारतीय इतिहास की दिग्गज हस्तियों के भी फ्रांस के साथ घनिष्ठ संबंध थे। उपराष्ट्रपति ने अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन के माध्यम से स्वच्छ ऊर्जा के उपयोग को बढ़ावा देने के लिए भारत और फ्रांस के संयुक्त प्रयासों के बारे में भी बात की। उन्होंने कहा कि विकास में भारत और फ्रांस की साझेदारी दोनों देशों की अर्थव्यवस्थाओं, विशेष रूप से स्मार्ट शहरीकरण और परिवहन के क्षेत्र में बहुत लाभकारी साबित हुई है।