संशोधित मानदंडों के अनुसार, अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के स्टूडेंट्स को पांच विषयों के लिए अब 1200 रुपए का भुगतान करना होगा, जबकि पहले उन्हें इतने ही विषयों के लिए 50 रुपए का भुगतान करना पड़ता था। बोर्ड ने इनकी फीस में 24 गुना की बढ़ोतरी की है। सामान्य श्रेणी के उम्मीदवार जो पहले 750 रुपए का भुगतान कर रहे थे, वे अब उनसे 1500 रुपए परीक्षा फीस के रूप में लिए जाएंगे।
सीबीएसई के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, फीस क्लास 10 और 12 बोर्ड परीक्षाओं के लिए लागू होगी। क्लास 12 बोर्ड परीक्षा में अतिरिक्त विषय में शामिल होने के लिए अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के उम्मीदवारों को 300 रुपए अतिरिक्त चुकाने होंगे। पहले उनसे कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लिया जाता था। वहीं, सामान्य वर्ग के स्टूडेंट्स को अतिरिक्त विषय की परीक्षा में शामिल होने के लिए 150 रुपए की जगह 300 रुपए का भुगतान करना होगा।
अधिकारी ने आगे कहा कि 100 प्रतिशत दृष्टिहीन स्टूडेंट्स से सीबीएसई परीक्षा फीस (CBSE examination fees) नहीं ली जाएगी। जो स्टूडेंट्स आखिरी तारीख तक परीक्षा फीस का अंतर नहीं दे पाते हैं तो उनका रजिस्ट्रेशन नहीं किया जाएगा और उन्हें 2019-20 परीक्षा में भी नहीं बैठने दिया जाएगा। माइग्रेशन फीस जो पहले 150 रुपए थी, उसे बढ़ाकर 350 रुपए कर दिया गया है।
विदेशों में सीबीएसई स्कूलों से संबद्ध स्कूलों में पढ़ाई कर रहे स्टूडेंट्स को क्लास 10 और 12 बोर्ड परीक्षा में पांच विषयों के लिए 10 हजार रुपए परीक्षा फीस के रूप में जमा करवाने होंगे। पहले, परीक्षा फीस के रूप में 5 हजार रुपए अदा करने होते थे। वहीं, क्लास 12 परीक्षा में अतिरिक्त विषय की फीस 1 हजार रुपए से बढ़ाकर 2 हजार रुपए कर दी गई है।