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पात्रा भारतीय रिजर्व बैंक में चौथे डिप्टी गवर्नर के रूप में पदभार संभालेंगे। वह संभवत: आचार्य द्वारा संचालित मौद्रिक नीति का कार्यभार संभालेंगे। वह सभी महत्वपूर्ण मौद्रिक नीति समिति में भी शामिल होंगे, जो ब्याज दर पर निर्णय लेती है। पात्रा उन उम्मीदवारों में से एक हैं, जिनका वित्त मंत्रालय की समिति ने साक्षात्कार लिया था। समिति में बैंकिंग और वित्त सचिव राजीव कुमार शामिल थे। समझा जाता है कि प्रधानमंत्री कार्यालय ने भी पात्रा के नाम पर मुहर लगाई है।
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इस पद पर परंपरागत रूप से केंद्रीय बैंक के बाहर के अर्थशास्त्रियों का चयन होता रहा है। आचार्य से पहले इस पद पर उर्जित पटेल थे, जिन्हें बाद में गवर्नर बना दिया गया। 2017 में आरबीआई के साथ करियर शुरू करने वाले माइकल पात्रा की मौद्रिक नीति को लेकर सोच आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास से मेल खाती है। दास के दिसंबर 2018 में पद संभालने के बाद से रेपो रेट में लगातार तीन बार हुई कटौती में पात्रा ने हमेशा पक्ष में मतदान किया है।