पूरे मैच में टीम ने संघर्ष किया
कोच कांस्टेनटाइन ने कहा कि वह अपनी टीम के इस प्रदर्शन से बेहद खुश हैं। उन्हें लगता है कि है कि खिलाड़ियों ने पूरे 93वें मिनट तक संघर्ष किया और इतने वर्षों बाद एशियन कप में पहली जीत हासिल कर वह बहुत खुश हैं। बता दें कि फुटबॉल का मैच 45-45 मिनट के दो हॉफ में खेला जाता है। खेल के बीच बरबाद समय को अतिरिक्त समय में जोड़ा जाता है। कल के मैच के 93 मिनट में 3 मिनट अतिरिक्त समय के थे।
हर मैच जीतने की कोशिश रहेगी
मुख्य कोच ने यह भी कहा कि उनकी टीम हर मैच को जीतने की कोशिश कर रही है। उनकी टीम प्रतिस्पर्धा करना चाहती हैं और प्रतिस्पर्धी बने रहना चाहती है। उन्होंने कहा कि उनकी टीम हर मैच जीतने की कोशिश करती है। वह 4-1 या 5-1 की जीत की उम्मीद लेकर मैदान में नहीं उतरते।
अभी काम खत्म नहीं हुआ
भारतीय टीम के कोच कांस्टेनटाइन ने कहा कि उन्हें भले ही इस जीत से खुशी मिली है, लेकिन वह अभी इससे संतोष नहीं कर सकते। उन्होंने कहा कि यह एक प्रक्रिया है। हम इस जीत से संतोष नहीं करने वाले। अभी दो मैच और बाकी हैं और क्वालिफाइंग के लिए हमें दो और अंक हासिल करने हैं। हम यहां क्वालिफाई करने आए हैं। अब समय नहीं रह गया है कि कोई भारत को उस नजर से देखें, जैसे देखता आया है। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि वे भावना के साथ आगे बढ़ने की कोशिश नहीं कर रहे हैं।
कड़ी मेहनत का है नतीजा
कांस्टेनटाइन के अनुसार, यह जीत पिछले कुछ सालों में की गई कड़ी मेहनत का नतीजा है। पिछले दो-तीन वर्षों में टीम ने काफी प्रगति की है। लेकिन अभी टीम को ग्रुप चरण से आगे बढ़ने के लिए कम से कम दो और अंकों की जरूरत है। अभी हमारा काम खत्म नहीं हुआ। ग्रुप चरण से आगे बढ़ने के बाद हम उत्साहित हो सकते हैं। हमारी प्राथमिकता अब भी ग्रुप से आगे बढ़ना है। यह टीम के लिए एक और मैच की तरह ही है। यह एक और जीत है, जो वे चाहते थे और यह एएफसी एशियन कप में मिली है।
भारतीय टीम का अगला मुकाबला 10 जनवरी को शेख जायद स्पोर्ट्स सिटी में संयुक्त अरब अमीरात के खिलाफ होगा।