घटना स्थल पर पहुंचे डीएम मुकेश पांडेय के सास, ससुर और पत्नी उनको कोसते दिखाई दिए। उन्होंने कहा कि मुकेश को अपनी तीन माह की दुधमुंही बेटी का भी ख्याल नहीं आया। उन्होंने उसके बारे में भी तनिक नहीं सोचा। साथ ही मुकेश की सास ने कहा कि यदि उन्हें यह पता होता कि वह इतना कायर है तो वो अपनी बेटी की शादी किसी भी कीमत में उससे नहीं करते। परिजनों की यह बात सुनकर अधिकारियों ने भी दबी जुबान में कहा कि आत्महत्या के पीछे पारिवारिक विवाद लग रहा है। बाकी जांच के बाद ही मामला साफ हो पाएगा, क्योंकि मुकेश के परिजन अभी नहीं पहुंच पाए हैं।
मौके पर पहुंचे गाजियाबाद के एसएसपी हरि नारायण सिंह, डीएम मिनिष्ती एस और एसपी सिटी आकाश तोमर व जीआरपी थाना प्रभारी का कहना था कि शुरुआती जांच में घटना रात करीब 8 बजकर 40 बजे के आसपास की लग रही है। उन्होंने कहा कि सुसाइड नोट से ये तो साफ हो गया है कि मुकेश ने आत्महत्या ही की है, लेकिन इसके बाद भी मामले की गहनता से जांच चल रही है।
बताया जा रहा है कि आईएएस मुकेश पांडेय बृहस्पतिवार से लापता थे, जिसकी उनके ससुर ने दिल्ली के सरोजनी नगर थाने में गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। मुकेश पांडेय के ससुराल वालों के अनुसार उन्होंने सुसाइड करने से पहले अपने कई रिश्तेदारों को सुसाइड करने की जानकारी दी थी। जिसके बाद उनकी कई जगह तलाश की कई गई। काफी तलाश के बाद जब वह नहीं मिले तो एनसीआर में पुलिस को वायरलेस द्वारा सूचना दी गई। गश्त के दौरान गाजियाबाद जीआरपी एसआई ने रात करीब 9 बजे उनका शव रेलवे ट्रैक पर पड़ा देखा और इसकी सूचना उच्च अधिकारियों को दी। फिलहाल इस बात की पुष्टि नहीं हो सकी है कि उन्होंने ट्रेन से कूदकर सुसाइड किया या ट्रेन के आगे कूदकर।
वाट्सएप पर भी छोड़ा था मैसेज डीएम मुकेश पांडेय ने मरने से पहले अपनी मौत की वजह एक वाट्सएप मैसेज के जरिए बताई थी। उन्होंने मैसेज में उन सभी बातों का जिक्र किया था, जिसकी वजह से उन्हें ये दुनिया छोड़कर जानी पड़ी। दरअसल, अपनी मौत से पहले वाट्सएप करने वाले डीएम ने लिखा कि ‘मैं जीवन से निराश हूं और मानवता से विश्वास उठ गया है। मेरा सुसाइड नोट दिल्ली के होटल लीला पैलेस में नाईक के बैग में रूम नंबर 742 में रखा है। उन्होंने आगे लिखा कि मैं आप सबसे प्यार करता हूं, कृपया मुझे माफ कर दें। बहरहाल जिस तरह मुकेश ने सुसाइड नोट लिखा और उससे पहले तिश्तेदारों को भी वाट्सएप कर आत्महत्या की है। उससे लगता है कि डिप्रेशन के शिकार थे जिसके चलते इन्होंने यह कदम उठाया।