इससे पहले समाजवादी पार्टी द्वारा आयोजित पार्टी में पहुंचे राजा भैया ने इस बात की घोषणा की थी कि उनका समर्थन अखिलेश यादव के लिए है। हालांकि उन्होंने मतदान के दिन ट्वीट कर यह भी लिखा कि वह अखिलेश का समर्थन करते हैं लेकिन इसका यह मतलब नहीं कि वह बसपा का समर्थन करते हैं। वहीं मतदान के बाद अखिलेश यादव ने ट्वीट कर राजा भैया को समर्थन देने के लिए धन्यवाद दिया था। लेकिन सपा की नई सहयोगी पार्टी बीएसपी सुप्रीमो मायावती द्वारा समर्थन पर ऐतराज जाहिर करने पर अखिलेश ने अपना ट्वीट भी तुरंत हटा दिया।
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योगीराज में भाजपा नेता की बेटी के अपहरण का प्रयास, एक्शन में आई यूपी पुलिस ने की बड़ी कार्रवाई अब इस पूरे मामले में गाजियाबाद से राज्यसभा सांसद चुने गए अनिल अग्रवाल ने समर्थन मिलने के बाद राजा भैया को राम अवतार (भगवान राम का अवतार) तक बता डाला। मंगलवार को एक अखबार से बातचीत करते हुए अनिल अग्रवाल ने कहा कि दो प्रमुख खिलाड़ियों के वोटों ने बीजेपी की किस्मत को ही पलट कर रख दिया। राजा भैया एक पवित्र हिंदू हैं और इनके घर का नाम भी रामायण है। उन्होंने राम अवतार में आकर मेरी जीत सुनिश्चित की और दूसरी ओर बसपा विधायक अनिल सिंह भी हमेशा से राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के करीबी रहे हैं। उन्होंने कहा कि जो विधायक हिंदुत्व में यकीन रखते हैं उन्होंने ही उनका समर्थन किया है। यह भी पढ़ें
गोरखपुर व फूलपुर हारने के बाद कैराना के लिए प्रधानमंत्री मोदी इस तारीख को करेंगे सभा मायावती ने राजा भैया को ठहराया हार का जिम्मेदार बता दें कि मतदान के नतीजे आने के बाद बसपा सुप्रीमो मायवती ने उनके उम्मीदवार की हार के लिए सीधे तौर पर राजा भैया को जिम्मेदार ठहराया। वहीं मायावती की इस नाराजगी के चलते ही अखिलेश यादव ने भी आनन-फानन में अपने उस ट्वीट को हटा दिया जिसमें उन्होंने राजा भैया को समर्थन देने के लिए धन्यवाद किया था। यह भी पढ़ें : यमुना एक्सप्रेस वे पर सफर करने वालों के लिए बड़ी खबर अनिल अग्रवाल को दूसरी वरीयता में मिली जीत उल्लेखनीय है कि समाजवादी और कांग्रेस ने राज्यसभा सीटों के लिए हुए मतदान में बसपा प्रत्याशी भीमराव आंबेडकर को समर्थन दिया। जिसके चलते पहली वरीयता में अनिल अग्रवाल को 16 मत मिले जबकि आंबेडकर को 32 वोट हासिल हुए। हालांकि, दूसरी वरीयता के आधार पर अग्रवाल ने बसपा के उम्मीदवार को शिकस्त दे दी।