जमीयत-उलमा-ए-हिन्द के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी का बड़ा ऐलान
देवबन्द. असम में रहने वाले 40 लाख हिन्दुओं और मुस्लिमों के नाम राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) में नहीं आने से देशभर में हाहाकार मच गया है। हालात को देखते हुए असम के 7 सीमावर्ती जिलों में धारा 144 लगा दी गई है। हालांकि, इस बीच संसद में केन्द्रीय गृहमंत्री ने आश्वासन दिया है कि लोगों के पास अब भी रास्ते खुले हैं। वे वैद्य दस्तावेज दिखाकर अपना नाम एनआरसी में जुड़वा सकते हैं। लेकिन पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने इस मामले में भाजपा पर वोट बैंक की राजनीति करने का आरोप लगाया है। ममता ने कहा कि ‘सरनेम’ देखकर लोगों के नाम ड्राफ्ट लिस्ट से हटाए गए हैं। उन्होंने कहा कि बहुत से ऐसे लोग हैं, जिनके पास आधार कार्ड और पासपोर्ट है। लेकिन इसके बावजूद उनका नाम ड्राफ्ट में शामिल नहीं किया गया है। ममता ने सवाल उठाया है कि क्या सरकार बलपूर्वक कुछ लोगों को देश से बाहर निकालने की कोशिश कर रही है? उन्होंने कहा कि हम इस बात को लेकर चिंतित हैं कि लोगों को उनके देश में ही शरणार्थी बना दिया गया है। इस बीच जमीयत उलमा-ए-हिन्द के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने एनआरसी में नाम नहीं आने वाले हिन्दू और मुसलमान सभी की मदद करने का ऐलान किया है।
शमशाद एनकाउंटर की जांच करने पहुंची मानव अधिकार आयोग की टीम, बढ़ सकती है सहारनपुर पुलिस की मुश्किलें
सहारनपुर. 5०,००० का इनामी बदमाश शमशाद एनकाउंटर में पुलिस की मुश्किलें बढ़ती दिख रही है। मानव अधिकार आयोग इस एनकाउंटर की जांच करा रहा है। इसी सिलसिले में मानव अधिकार आयोग की एक टीम सोमवार को सहारनपुर पहुंची। सर्किट हाउस में यह टीम रुकी हुई है और 2 दिनों तक यह टीम सहारनपुर में ही रुकेगी। इस दौरान टीम के अफसर शमशाद एनकाउंटर की जांच करेंगे और लोगों से बातचीत करेंगे। शमशाद पर पुलिस की ओर से ₹50,000 का इनाम रखा गया था। इसके बाद पुलिस ने आधी रात को करीब 12:30 बजे शहर के बीचो बीच शमशाद के साथ मुठभेड़ की बात कही। पुलिस ने अपनी कहानी में बताया था कि शमशाद अपने एक दोस्त के साथ बाइक पर था। इसका दोस्त अंधेरे का फायदा उठाकर भाग निकला था। इसके साथ ही पुलिस ने मौके से एक बाइक समेत दो पिस्टल बरामद करने का दावा भी किया था। इसके साथ ही पुलिस ने एनकाउंटर के दौरान बदमाशों की ओर से कई राउंड गोलियां चलने का दावा भी किया था।
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जमीन धंसने से मकान की सुरक्षा को लेकर लोगों में आई दहशत
बुलंदशहर. पिछले कई दिनों से लगातार हो रही मूसलाधार बारिश की वजह से बुलंदशहर के खुर्जा में काशीराम आवास योजना के तहत बने मकानों में रहने वाले लोगों के सामने संकट पैदा हो गया है। इन मकानों की जहां जर्जर हालत है। यहां के हालात को देखकर यहां रहने वाले लोग ख़ौफ़ के साए में आ गए हैं। हालत यह है कि कुछ मकान तो जर्जर हो चुके हैं। वहीं, कुछ मकान के आस पास जमीन भी धंसने लगी है। जिले में पिछले कई दिन से लगातार हो रही बारिश की वजह से कुछ लोग संकट में आ गए हैं। खास तौर से जर्जर आवासों में रहने वाले लोगों की जिंदगी भी खतरे में है। बुलंदशहर जिले के खुर्जा नगर में तत्कालीन बहुजन समाज पार्टी सरकार ने गरीबों को घर देने के लिए काशीराम आवास योजना के तहत आवासों का निर्माण किया गया था। तब पात्रों को ढूंढकर घर दिए गए थे, लेकिन भवन निर्माण के दौरान बड़े पैमाने पर हुए भ्रष्टाचार की वजह से कुछ ही साल में अब ये मकान जीर्ण-शीर्ण अवस्था में पहुंच गए हैं।