गोंडा। बाढ़ के पानी का लगातार फैलाव जारी है। गुरुवार को 8 नये मजरे बाढ़ से प्रभावित हो गये। बाढ़ से प्रभावित होने वाले मजरों की संख्या लगातार बढ़ने के साथ ही 80 के पार हो गई है। वहीं घाघरा का जलस्तर खतरे के निशान के नीचे नहीं हो रहा है जिससे बाढ़ पीड़ितों की मुश्किलों का दौर जारी है।
अब तक करनैलगंज तहसील की करीब दस ग्राम पंचायतें बाढ़ से प्रभावित हो चुकी हैं। इसके साथ ही करीब 15 मजरों की ओर बाढ़ का पानी तेजी से बढ़ रहा है। करनैलगज तहसील की दस ग्राम पंचायतों नकहरा, काशीपुर, प्रतापपुर, घरकुंइया, पूरे अंगद, भटपुरवा, दिवली, गौरासिंगपुर, बहुवन मदार मांझा, शिवगढ, अतरसुइया, मोहम्मदपुर गडवार के अब तक 62 मजरे प्रभावित हो चुके हैं। जिले की सीमा पर बसी बाराबंकी जिले की पांच ग्राम पंचायतों परसावल, रायपुर, बेहटा, कमियार, नैपूरा के 32 मजरे पहले से ही बाढ प्रभावित है। गुरुवार को ग्राम मोहम्मदपुर गड़वार के मजरा नरेश पुरवा राजपति पुरवा, लोनियन पुरवा, अहिरन पुरवा व ग्राम दिवली व अहिरन पुरवा, खालेपूरवा, दुलारे पुरवा, संभर पुरवा, देवकिशुन पुरवा, सांवल पुरवा, राधे पुरवा, भगत पुरवा, श्यामविहारी पुरवा, गोसांई पुरवा, तीरथराम पुरवा, पुहिल पुरवा, हरीलाल पुरवा एवं मोछारन पुरवा, काशीपुर के मजरे, सीताराम पुरवा, पेंड़ा पुरवा, हनोमान पुरवा, रामसिंह पुरवा, हरिपाल पुरवा, मल्लहन पुरवा, गौघट्टा, जानकी पुरवा, ग्राम घरकुइंया के मजरे नऊवनपुरवा, गोड़ियन पुरवा, चमारन पुरवाएवं धोबिन पुरवा, पूरी तरह पहले से ही प्रभावित है।
वही व गौरासिंहनापुर का मजरा पासिंनपुरवा पूर्वी घरकुइंया का जगन्नाथ पुुरवा, बासुदेव पुरवा, जोगनिपुरवा, लोनियनपुरवा, प्रतापपुर, ग्राम अतरसुइया डीहा व उसके मजरे जगन्नाथ पुरवा, घरुकन पुरवा, बहुवन मदार मांझा का मजरा बाबा मांझा, मर्दन पुुरवा, रामचन्दर पुरवा, लालूपुरवा, भुजवनपुरवा, तेलहनपुरवा, चेला प्रधानपुरवा, धु्रवराज पुरवा, खजुहनपुरवा, ग्राम शिवगढ का देवी पाण्डेयपुरवा, धनलाल पुरवा, ग्राम पूरे अंगद का सुन्दर प्रधानपुरवा, नेकपाल पुरवा, बधुुवन पुरवा, मतवालन पुरवा, अंजनी पुरवा, आल्हकपुरवा, भटपुरवा, टेंगनहा, बौडिहन पुरवा, चैबे पुरवा, एवं सुुंदर पुरवा के आस पास बाढ़ का पानी आ चुका है। लगातार बाढ की स्थिति बदतर होती जा रही है। तथा बाढ पीडितों की मुस्किलें बढती जा रही है। एसडीएम अर्चना वर्मा ने बताया कि अब तक गोंडा जिले के 31 मजरे बाढ से प्रभावित हो चुके हैं। वहीं करीब 30 मजरों को बाढ़ के पानी ने घेर रखा है। लगातार उनपर नजर रखी जा रही है। प्रभावित हो चुके सभी मजरों में लंच पैकेट पहुंचाया जा रहा है। उन्होंने बताया कि 30 नावें गांवो में लगाई जा चुकी हैं। जब कि और नावें मगाई जा रही है। सभी प्रभावित गांवों में नावों की व्यवस्था कराई जा रही है। जो गांव बाढ के मुहाने पर हैं उन्हें खाली कराया जा रहा है।
लोगों की धड़कने बढ़ी
बाढ़ जैसे-जैसे विकराल रुप धारण कर रही है। वैसे-वैसे ग्रामीणों की धड़कने भी तेज हो रही हैं। ग्रामीणों का तेजी से पलायन भी शुरु हो गया है। कोई बैलगाड़ी से तो कोई नाव से अपनी गृहस्थी का सामान लेकर गांव के बाहर जा रहा हैं। लोगों के सामने रहने, खाने एवं जानवरों के चारे का जबरदस्त संकट आ गया है। अधिकांश लोग बांध पर अपना आशियाना बनाने में जुट गये हैं।