पूर्ति निरीक्षक, गोदाम प्रभारी व कानूनगो हुए निलंबित , अनाज घोटाले में पाए गए थे दोषी
जनपद में हुए अनाज घोटाले के मामले में पूर्ति निरीक्षक, गोदाम प्रभारी व कानूनगो को अपनी नौकरी से हांथ धोना पड़ा।

गोंडा : जनपद में हुए अनाज घोटाले के मामले में पूर्ति निरीक्षक, गोदाम प्रभारी व कानूनगो को अपनी नौकरी से हांथ धोना पड़ा। जब अनाज घोटाले के मामले की जांच की रिपोर्ट एसडीएम सदर के पास भेजा गई तो इस अनाज घोटाले में पूर्ति निरीक्षक, गोदाम प्रभारी व कानूनगो को दोषी पाया गया है। एसडीएम सदर ने भी कड़ी कार्रवाई करते हुए तीनों अधिकारियों को निलंबित कर दिया।
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कुछ दिनों पहले निजी गोदाम में मारा गया था छापा
कुछ दिनों पहले की बात है कि वजीरगंज के बंधवा चौराहा स्थित एक निजी गोदाम में जब पुलिस द्वारा छापा मारा गया था तो उसमें सरकारी अनाज पकड़ा गया था। छापा मारने के बाद पकड़े गए सरकारी अनाज को जब्त कर लिया और उसकी जांच की प्रक्रिया शुरू कर दी थी। जिसमें जिला प्रशासन ने व्यापारी धर्मप्रकाश सहित अन्य लोगों के खिलाफ अनाज काला बाजारी का मुकदमा भी दर्ज कर लिया गया था।
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पूर्ति निरीक्षक, गोदाम प्रभारी व कानूनगो पाए गए दोषी
जब जांच पूरी हो गई तो जांच में पूर्ति निरीक्षक महेश प्रसाद, गोदाम प्रभारी भारत सिंह और कानूनगो बालमुकंद सिंह दोषी पाए गए। एफसीआइ से झंझरी ब्लॉक के लिए चला अनाज का ट्रक भी वजीरगंज में पकड़ा गया था। यहां जांच के दौरान एक निजी गोदाम से लगभग 9000 बोरी सरकारी खाद्यान्न जब्त किया गया था। इसके साथ ही जांच में पाया गया कि राजस्व निरीक्षक ने भी फर्जी सत्यापन रिपोर्ट लगाई थी। जबकि गोदाम प्रभारी भी घोटाले में संलिप्त पाए गए। पूर्ति निरीक्षक महेश प्रसाद को पर्यवेक्षण में लापरवाही के लिए दोषी पाया गया। एसजीएम सदर द्वारा दोषी पर कार्रवाई कर उनको निलंबित कर दिया गया है।
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