परीक्षा को लेकर केंद्रों पर अभ्यर्थियों के पहुंचने का सिलसिला डेढ़ घंटा पूर्व से ही प्रारंभ हो गया था। नकलविहीन परीक्षा के लिए सभी केंद्राध्यक्षों और पर्यवेक्षकों केंद्रों पर मुस्तैद नजर आए।
परीक्षा को नकलविहीन बनाने के लिये सभी परीक्षा केन्द्रों के सभी कमरों की वेबकास्टिंग के प्रबंध किया गया था। जिसकी निगरानी आयोजक महात्मा ज्योतिबा फुले रुहेलखण्ड विश्वविद्यालय , बरेली द्वारा किया गया। गोरखपुर, कुशीनगर और देवरिया में कुल 85 केंद्रों पर परीक्षा का आयोजन हुआ। पहली पाली में परीक्षा के लिए कुल 37829 अभ्यर्थियों ने पंजीकरण कराया था। परीक्षा में 34802 अभ्यर्थी शामिल हुए। 3027 अभ्यर्थियों ने पेपर को छोड दिया। दूसरी पाली में 34826 अभ्यर्थी शामिल हुए, 3003 ने परीक्षा को छोड़ दिया। परीक्षा के नोडल समन्वयक प्रो. सुषमा पाण्डेय ने बताया कि सभी केंद्रों पर सकुशल परीक्षाओं का आयोजन हुआ।
परीक्षा को नकलविहीन बनाने के लिये सभी परीक्षा केन्द्रों के सभी कमरों की वेबकास्टिंग के प्रबंध किया गया था। जिसकी निगरानी आयोजक महात्मा ज्योतिबा फुले रुहेलखण्ड विश्वविद्यालय , बरेली द्वारा किया गया। गोरखपुर, कुशीनगर और देवरिया में कुल 85 केंद्रों पर परीक्षा का आयोजन हुआ। पहली पाली में परीक्षा के लिए कुल 37829 अभ्यर्थियों ने पंजीकरण कराया था। परीक्षा में 34802 अभ्यर्थी शामिल हुए। 3027 अभ्यर्थियों ने पेपर को छोड दिया। दूसरी पाली में 34826 अभ्यर्थी शामिल हुए, 3003 ने परीक्षा को छोड़ दिया। परीक्षा के नोडल समन्वयक प्रो. सुषमा पाण्डेय ने बताया कि सभी केंद्रों पर सकुशल परीक्षाओं का आयोजन हुआ।
एक परीक्षार्थी श्वेता श्रीवास्तव ने बताया कि हिन्दी और जनरल नॉलेज का पेपर था। उन्होंने बताया कि जीके का पेपर टफ आया था. उन्हें पूरी उम्मी है कि वे पास हो जाएंगी. वहीं आलोक कुमार ने बताया कि उनका पेपर अच्छा हुआ है। 75 प्रतिशत प्रश्नों को उन्होंने हल किया है। माइनस मार्किंग की वजह से उन्होंने कम प्रश्नों का उत्तर दिया।