यह है सिस्टम की लागत-
एयरपोर्ट अथारिटी आफ इंडिया सिस्टम लगाने के लिए 10 करोड़ रुपये खर्च कर रही है। इस सिस्टम के लगने के बाद से जहाज कोहरे व बारिश के दौरान न्यूनतम दृश्यता में व आटो मोड में रन-वे पर लैंड व टेकआफ कर सकेंगे। 20 अक्टूबर 2021 को एयरपोर्ट पर आए नागर विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के निर्देश के बाद 27 अक्टूबर को एयरपोर्ट पर आईएलएस सर्वे के लिए दिल्ली से टीम आई थी।
एयरपोर्ट अथारिटी आफ इंडिया सिस्टम लगाने के लिए 10 करोड़ रुपये खर्च कर रही है। इस सिस्टम के लगने के बाद से जहाज कोहरे व बारिश के दौरान न्यूनतम दृश्यता में व आटो मोड में रन-वे पर लैंड व टेकआफ कर सकेंगे। 20 अक्टूबर 2021 को एयरपोर्ट पर आए नागर विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के निर्देश के बाद 27 अक्टूबर को एयरपोर्ट पर आईएलएस सर्वे के लिए दिल्ली से टीम आई थी।
नागर विमानन मंत्री ने मीडिया से बातचीत में आईएलएस का कार्य जल्द शुरू कराने की बात कही थी। नागर विमानन मुख्यालय दिल्ली के संयुक्त महाप्रबंधक एसएस राजू के नेतृत्व में आई टीम में एडी तरुण गुप्ता व सहायक महाप्रबंधक मोहम्मद नसीम शामिल थे। इस टीम ने एयरपोर्ट पर आईएलएस के पार्ट डीवीओआर (डाप्लर वेरी हाई फ्रीक्वेंसी ओमनी रेंज), लोकलाइजर, ग्लाइड पाथ आदि लगाए जाने का सर्वे कर अपनी रिपोर्ट मुख्यालय को दी थी।
एयरपोर्ट प्रबंधक सुरक्षा संतोष मौर्य ने बताया कि किसी भी एयरपोर्ट पर हर मौसम में जहाजों के बाधारहित व सुरक्षित लैंडिंग व टेकआफ के लिए परफेक्ट नेविगेशनल एक्यूपमेंट का होना जरूरी होता है। कुशीनगर एयरपोर्ट निदेशक एके द्विवेदी ने बताया कि एयरपोर्ट से उड़ान की संख्या बढ़ाने के लिए सभी जरूरी संसाधनों की स्थापना की जा रही है। छह माह में विदेश के लिए हवाई यात्रा शुरु हो जाएगी।