Read this also: रसोर्इ गैस बाॅटलिंग की निर्भरता खत्म होगी गीडा के सेक्टर पंद्रह में स्थित इंडियन आयल के इंटेली ग्रीन-एलपीजी बॉटलिंग प्लांट 38 एकड़ क्षेत्र में है। इस प्लांट की निर्माण लागत 204 करोड़ रुपये से अधिक आई है। जानकारों के मुताबिक इस प्लांट से रोज दो शिफ्टों में 68 हजार रसोई गैस सिलेंडर रिफिल किए जा सकते हैं। गोरखपुर-बस्ती-आजमगढ़ मंडल के जिलों के अलावा पूर्वांचल के कई जिलों में यहां से रसोई गैस सिलेंडर की आपूर्ति की जा सकेगी। फिलहाल, इस प्लांट को टैंकर से गैस की सप्लाई मिलेगी। लेकिन पाइपलाइन का काम पूरा होने के बाद यह पाइपलाइन से गैस आपूर्ति पा सकेगा।
सेकेंड जेनरेशन का इथनाॅल प्लांट लगेगा गोरखपुर के धुरियापार में धुरियापार में बंद चीनी मिल की पचास एकड़ जमीन पर सेकेंड जेनरेशन इथनाॅल प्लांट का शिलान्यास मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ करेंगे। यह देश का यह पहला टूजी यानि सेकेंड जेनरेशन का इथनाॅल प्लांट होगा। जानकारों के मुताबिक इस परियोजना की लागत करीब सात हजार करोड़ रुपये है। इथनाॅल प्लांट के आसपास औद्योगिक गलियारा भी प्रस्तावित है। इसके लिए आसपास के 18 गांवों की करीब पांच हजार एकड़ जमीन लेने का भी प्रस्ताव है। जानकारों का दावा है कि इस परियोजना से पूर्वांचल के किसानों और बेरोजगारों को फायदा होगा। बताया जा रहा है कि गेहूं के डंठल का भूसा, धान की भूसी, पुआल, गन्ने की पत्ती सहित अन्य चीजें किसानों से खरीदी जाएंगी। इस प्लांट में डेढ़ वर्ष के भीतर कंप्रेस बॉयो गैस का उत्पादन कर पेट्रोल पंपों को सप्लाई दी जाएगी, जिसके लिए पशुपालकों से गोबर खरीदा जाएगा।