यूपी में भारतीय जनता पार्टी 2014 का जनादेश फिर वापस पाने के लिए पसीना बहा रही लेकिन बाहरियों से लड़ने की बजाय वह अपने दल की गुटबाजी रोकने में नाकाम साबित हो रही। लोकसभा चुनाव के ऐन वक्त पहले पार्टी के अंदर की गुटबाजी अब सड़क पर आ चुकी है। देवरिया संसदीय क्षेत्र में रायशुमारी के दौरान दल के सीनियर नेताओं के सामने ही जमकर नारेबाजी की गई। एक गुट के इशारे पर कुछ युवाओं ने पार्टी के सीनियर लीडर व सांसद कलराज मिश्र को हटाने के लिए जमकर नारे लगाए। यूपी के सह प्रभारी सुनील ओझा व संगठन महामंत्री रत्नाकर शनिवार को देवरिया जिले में लोकसभा चुनाव में प्रत्याशी के संबंध में रायशुमारी करने पहुंचे थे। रायशुमारी के लिए पार्टी के जिम्मेदारों को शहर के ही एक होटल में बुलाया गया था। इसकी भनक टिकट के दावेदारों को भी थी। अंदर बैठक के दौरान काफी संख्या में कुछ लोग होटल पर पहुंच गए और बैठक के दौरान नारेबाजी करने लगे। ये लोग सांसद कलराज मिश्र को हटाने की मांग करने लगे। इन लोगों का कहना था कि कलराज मिश्र को टिकट नहीं दिया जाए। हालांकि, ये लोग किसका समर्थन कर रहे थे, यह बात रणनीतिक रूप से उजागर नहीं कर रहे थे। परंतु यह देवरिया भाजपा के लिए शुभ संकेत नहीं माना जा रहा है। वजह यह कि बीजेपी में टिकट को लेकर गुटबाजी सड़क पर आ चुकी है। टिकट के दावेदार अपनी प्रत्याशिता सुनिश्चित कराने के लिए तरह तरह के हथकंड़े अपना रहे हैं। शनिवार को रायशुमारी के दौरान हुआ विरोध प्रदर्शन भी टिकट के दावेदारों की सोची समझी रणनीति बतायी जा रही है।