दरअसल, दो माह पूर्व प्राधिकरण की बोर्ड बैठक में स्पोर्ट्स सिटी प्रोजेक्ट का आवंटन रद्द करने का प्रस्ताव रखा गया था। बोर्ड इस मामले में निर्णय लेने के लिए यमुना प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डाॅ. अरुणवीर सिंह को अधिकृत किया था। डाॅ. अरुणवीर सिंह ने बताया कि जेपी समूह को किया गया आवंटन रद्द करते हुए सीलिंग की कार्यवाही की गई है। जमीन पर प्राधिकरण ने कब्जा हासिल कर लिया है। जमीन के खाली पड़े हिस्से को ग्लोबल टेंडर के जरिए बेचा जाएगा। इसे बेचकर प्राधिकरण को करीब 20 हजार करोड़ रुपए मिलेंगे। इस रकम से प्राधिकरण अपनी बकाया धनराशि को वसूल करेगा और जेपी की सहयोगी कम्पनियों के 4,605 आवंटियों को उनके प्लॉट देगा। किसानों को भी बढ़ी दरों पर दी जाने वाली मुआवजे की रकम की भरपाई की जाएगी।
बता दें कि फार्मूला वन रेसिंग ट्रैक देश का पहला कार रेसिंग ट्रैक था। ट्रैक पर केवल वर्ष 2011, 2012 और 2013 में एफ-वन रेस हुई हैं। इसके बाद से कोई बड़ी प्रतियोगिता यहां नहीं हो सकी है। कम्पनी को रेसिंग ट्रैक से आमदनी की जो उम्मीद थी, उसके विपरीत हजारों करोड़ का घाटा हो गया। बताया जाता है कि इसी वजह से यह परियोजना डूब गई।