खाने को चारा नहीं मिला: गायों की मौत, गौशाला बनी श्मशान घाट-पगारा की श्री राधा कृष्ण गौशाला, भूसा नहीं मिलने से गाय भूखी मरने को मजबूर
मानवीय संवेदनाएं मरीं, ट्रेक्टरों से घसीटकर ले गए गायों को
गुना। गुना जनपद के अन्तर्गत आने वाली ग्राम पंचायत पगारा में संचालित श्री राधाकृष्ण गौशाला का एक मामला सामने आया है जहां भूसा न होने से गाय बीमार हो रही हैं और गायों के मरने का सिलसिला जारी है। गायों के बीमार और पशुधन कम होने के प्रति पशु चिकित्सा विभाग के अधिकारी भी गंभीर नहीं हैं। इन गायों के मरने के बाद मानवीय संवेदनाएं चाहें पंचायत के पदाधिकारी हों या विभाग के अधिकारी व कर्मचारियों में शून्य दिखाई दी।मृत गायों को ट्रेक्टर के जरिए घसीटकर ले जा रहा था, इसका एक वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है। इसमें गौशाला श्मशान घाट बन गई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार ग्राम पंचायत पगारा ही नहीं जिले में ऐसी कई सरकारी गौशाला हैं, जहां गायों को रखे जाने और चारा व भूसा खिलाने के लिए सरकारी फण्ड भी मिलता रहा है। लेकिन इन गौशाला में पदस्थ लोग व पशु चिकित्सा विभाग के कुछ अधिकारी व कर्मचारी गौशाला के निर्माण में घटिया निर्माण कर पैसा डकार रहे हैं, वहीं इलाज और भूसा के नाम पर हर माह लाखों के बारे-न्यारे कर रहे हैं। हाल ही में ग्राम पंचायत पगारा का मामला सामने आया है जहां की गौशाला में बंधी गायों को खाने के लिए भूसा तक नहंीं दिया जा रहा है। ये दिखा मामला गुना जनपद के ग्राम पंचायत पगारा में स्थित श्री राधाकृष्ण गौशाला में काफी गाय हैं, इन गायों का संचालन गांव की एक महिला द्वारा बनाए गए स्व सहायता समूह को दिया गया है। इस गौशाला का नजारा देखा तो यहां की कई गाय भूखमरी की कगार पर दिखीं। इस गौशाला के आगे-पीछे दोनों तरफ मरी हुई गाय पड़ी थीं, उधर कुछ श्वान गायों को खाते हुए दिखाई दिए। कुछ गायों को काटकर गाय का कारोबार करने वाले उसका मांस ले जाते हुए दिखे। कुछ गायों की खाने को न मिलने से बीमार दिखाई दीं। नहीं पहुंचा पशु चिकित्सा विभाग का स्टाफ सूत्र बताते हैं कि गायों का इलाज करने के नाम पर पशु चिकित्सा विभाग द्वारा हर माह लाखों रुपए कागजों में खर्च किए जा रहे हैं, लेकिन धरातल पर बीमार गायों का इलाज तक नहीं किया जा रहा है। इसका ताजा उदाहरण ये है कि इस गौशाला में गायों के बीमार होने पर उस सरपंच भास्कर रघुवंशी ने पशु चिकित्सा विभाग को सूचना दी, लेकिन विभाग का कोई भी न तो अधिकारी पहुंचा। ट्रेक्टर से बांधकर घसीट रहे थे मृत गायों को गांव के लोगों ने बताया कि बीते रोज खाने को कुछ न मिलने से बीमार हो गईं जिनकी मौत हो गई। इसके बाद उन गायों को ट्रेक्टर से रस्सी से बांधकर घसीटा जा रहा था। इसका कुछ लोगोंं ने विरोध भी किया,लेकिन वे नहीं माने। काफी दूर तक ट्रेक्टर से घसीटकर ले जाया जा रहा था। ग्राम पंचायत पगारा के उप सरपंच भास्कर रघुवंशी ने बताया कि हमने गौशाला का ममता जाटव के समूह को दिया है। अभी मेरी ट्रेनिंग पूरी नहीं हुई है और न ही मुझे गौशाला की जानकारी है। छह महीने पहले गौशाला के लिए कुछ राशि प्राप्त हुई थी जब से हमें कुछ पता नहीं है। डकार रहे हैं गौशाला का पैसा सूत्रों ने बताया कि गुना जनपद के पगारा अकेले ही आरोन, राघौगढ़, कुंभराज समेत कई ऐसी जगह हैं जहां प्रदेश सरकार के सहयोग से गौशाला न खुली हो। लेकिन कई गौशालाएं नियमों की सरे आम धज्जियां उड़ाकर हर माह लाखों रुपए डकार रही हैं। इनमें कई गौशालाओं की शिकायतें हुईं, लेकिन नतीजा सिफर रहा। भूसा पर प्रतिबंध बेअसर उधर कलेक्टर ने अपने एक आदेश में जिले से बाहर जाने पर भूसा पर प्रतिबंध लगाया है, लेकिन यह भूसा अभी भी जिले से बेधड़क ट्रेक्टर-ट्रॉलियों में भरकर शिवपुरी, अशोकनगर होते हुए बाहर जा रहा है, इनको रोकने का कोई भी अधिकारी प्रयास नहीं कर रहा है।