बताया जाता है कि याना से लेकर गुना-अशोकनगर रोड तक 8 स्थानों पर पनडुब्बी लगी हैं। यहां जेसीबी से २४ घंटे काम हो रहा है। इतना ही नहीं यहां गुना के अलावा अशोकनगर के लोग भी रेत निकालने सक्रिय हैं। रेत का परिवहन भी बड़ी चालाकी से हो रहा है। गुना में भी हर दिन रेत बेचने लाई जाती है। कई लोगों के बाद तो रायल्टी तक नहीं है। इसके अलावा पंचायतों में रेत की सप्लाई हो रही है।
पार्वती नदी से भी निकाली जा रही रेत
उधर, पार्वती नदी से रेत निकाली जा रही है। एबी रोड के पुल से लेकर चांचौड़ा और कुंभराज तहसील में व्यापक स्तर पर रेत का उत्खनन हो रहा है। यहां कुछ दिन पहले ही एसडीएम और कुंभराज तहसीलदार कार्रवाई करने गए थे। रास्ते में पटवारी से कुछ दबंग रेत से भरे ट्रैक्टर भी छुड़ा ले गए थे। पूर्व में भी प्रशासन की इस क्षेत्र में झड़प हो चुकी हैं। इसके बाद भी अंकुश नहीं लग पा रहा है।
उधर, पार्वती नदी से रेत निकाली जा रही है। एबी रोड के पुल से लेकर चांचौड़ा और कुंभराज तहसील में व्यापक स्तर पर रेत का उत्खनन हो रहा है। यहां कुछ दिन पहले ही एसडीएम और कुंभराज तहसीलदार कार्रवाई करने गए थे। रास्ते में पटवारी से कुछ दबंग रेत से भरे ट्रैक्टर भी छुड़ा ले गए थे। पूर्व में भी प्रशासन की इस क्षेत्र में झड़प हो चुकी हैं। इसके बाद भी अंकुश नहीं लग पा रहा है।
नदी में जगह-जगह हो गए गड्ढे
सिंध नदी में से लगातार रेत निकालने से कई जगह खतरनाक गड्ढे हो गए हैं। मशीनों के अलावा ट्रैक्टर ट्राली से भी रेत निकाली जा रही है। सिंध नदी पर लहरघाट, बेरखेड़ी घाट, सैंधुआ घाट, उकावद घाट, गुरैया घाट सहित कई जगह ट्रैक्टर-जेसीबी से काम चल रहा है।
सिंध नदी में से लगातार रेत निकालने से कई जगह खतरनाक गड्ढे हो गए हैं। मशीनों के अलावा ट्रैक्टर ट्राली से भी रेत निकाली जा रही है। सिंध नदी पर लहरघाट, बेरखेड़ी घाट, सैंधुआ घाट, उकावद घाट, गुरैया घाट सहित कई जगह ट्रैक्टर-जेसीबी से काम चल रहा है।
पुलिस की मिलीभगत से उत्खनन
सूत्रों के अनुसार, रेत उत्खनन पर अंकुश लगाने में न केवल खनिज विभाग निष्क्रिय है, बल्कि राजस्व विभाग भी स ती नहीं दिखा रहा है। उधर, पुलिस की मिलीभगत से भी कई जगह का चल रहा है। जब कभी कार्रवाई करने के लिए दल पहुंचता है तो उनके साथ पुलिस नहीं जाती। अगर, कभी जाती भी तो उत्खनन करने वालों को पहले से जानकारी मिल जाती है। इस वजह से उत्खनन पर अंकुश लगाना मुश्किल हो गया है।
सूत्रों के अनुसार, रेत उत्खनन पर अंकुश लगाने में न केवल खनिज विभाग निष्क्रिय है, बल्कि राजस्व विभाग भी स ती नहीं दिखा रहा है। उधर, पुलिस की मिलीभगत से भी कई जगह का चल रहा है। जब कभी कार्रवाई करने के लिए दल पहुंचता है तो उनके साथ पुलिस नहीं जाती। अगर, कभी जाती भी तो उत्खनन करने वालों को पहले से जानकारी मिल जाती है। इस वजह से उत्खनन पर अंकुश लगाना मुश्किल हो गया है।