हॉस्टल में भोजन की गुणवत्ता भी ठीक नहीं
छात्राओं ने बताया, हॉस्टल में उनको ठीक से भोजन नहीं मिल रहा है। अधपका भोजन दिया जाता है। इस कारण से छात्राओं को काफी परेशानी होती है। शिकायत करते हैं, तो कोई सुनता नहीं है। कभी रोटी कच्ची दे दी जाती है तो कभी सब्जी में ज्यादा पानी डाल दिया जाता है। इस कारण से उनको काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। इसके अलावा छात्राएं अप्रैल से हॉस्टल में रह रही हैं, लेकिन उनको अब तक ड्रेस आदि नहीं मिल पाई है। न तो हॉस्टल में पहनने के लिए कोई ड्रेस मिली है और न ही स्कूल जाने के लिए। छात्राओं को कोई शिकायत हाेती है तो वह बताना भी चाहती हैं, मगर उनकी कोई सुनवाई नहीं करता है। उधर, सुविधाएं नहीं मिलने से कई छात्राएं हॉस्टल नहीं आई हैं।
कस्तूरबा छात्रावास में सुरक्षा का अभाव
हॉस्टल मे सुरक्षा का अभाव है। जब से हॉस्टल बना है, तब से बाउंड्रीवाल नहीं हो सकी है। इस कारण से आवारा जानवर हॉस्टल परिसर में आ जाते हैं। रात के समय सुरक्षा का भी अभाव रहता है। इस संबंध में कई बार बताया गया, लेकिन कोई सुधार नहीं किया जा रहा है। बताया जाता है कि कई बार कर्मचारी और छात्राओं ने भी मांग उठाई, लेकिन उनकी मांग पर कोई ध्यान नहीं दिया गया है। इसके अलावा छात्राओं के लिए सामग्री आदि भी नहीं दी जा रही है। इस वजह से उनको काफी अभाव में हॉस्टल में रहना पड़ रहा है। इससे वह परेशान हैं।
छात्रावास में पानी की सबसे ज्यादा समस्या है। कई बार तो रात के समय गांव में से पानी लेकर आना पड़ता है। हॉस्टल प्रबंधन ने पानी का कोई इंतजाम नहीं किया है। छात्राओं से ही पानी भराया जाता है। स्टाफ समस्या बताता है तो उनको कह दिया जाता है कि बच्चों की भी भाषा मत बोलो। कर्मचारी कुछ बोलते हैं तो उनको नौकरी छोडक़र चले जाने के कह दिया जाता है। हास्टल में साफ सफाई की समस्या है। फिर भी शिक्षा विभाग ध्यान नहीं दे रहा है।
रामपुर छात्रावास में हैं समस्याएं
रामपुर टेंक गांव का कस्तूरबा गांधी छात्रावास100सीटर है, लेकिन छात्राओं को सुविधाएं नहीं है।
6 साल हो गए, मगर अब तक हास्टल की बाउंड्रीवाल नहीं बन सकी, सुरक्षा का अभाव है।
छात्रावास परिसर में एक हैंडपंप है, उसमें पानी नहीं है। छात्राओं को पानी की समस्या आ रही है। रामपुर गांव से पानी लेकर आना पड़ता है।Q
भोजन ठीक से नहीं मिल रहा है, कच्छी रोटी और पानी वाली सब्जी दी जाती है। मीन्यू अनुसार भोजन को छात्राएं तरस गई हैं।