जिसकी एक नजीर है शहर की श्रीराम कॉलोनी व रसीद कॉलोनी। जहां हाल ही में कलेक्टर भास्कर लाक्षाकार औचक निरीक्षण करने पहुंचे थे। इस दौरान वे वार्ड में गंदगी देख इतने नाराज हो गए थे कि तत्काल क्षेत्र के मेट पर कार्रवाई करने के आदेश जारी कर दिए। तब से लेकर अब तक तीन मेट बदल चुके हैं लेकिन नहीं बदली तो वार्ड की सफाई व्यवस्था की स्थिति।
जानकारी के मुताबिक जब भी शहर की मलिन बस्तियों की बात की जाती है तो सबसे पहले नाम श्रीराम कॉलोनी व रसीद कॉलोनी का आता है। इन कॉलोनियों की किसी भी गली में चलने लायक सड़क तक नहीं है। नाली नाम की कोई चीज देखने को नहीं मिलती है।
लोगों ने अपने घरों से निकलने वाले पानी को आसपास ही खाली जगह में भरने के लिए रास्ता कर दिया है। जिससे पूरे समय घर के आसपास गंदा पानी जमा होता रहता है। गंदगी व मच्छर लोगों को बीमार बना देते हैं।
इसलिए हालात है बद्तर
शहर की मलिन बस्तियों में शुमार श्रीराम कॉलोनी व रसीद कॉलोनी क्षेत्रफल व जनसंख्या की दृष्टि से अन्य वार्डों की अपेक्षा बड़ी कॉलोनी है। लेकिन इस अनुपात में नगर पालिका ने यहां सफाई कर्मियों की तैनाती नहीं की है। न ही इन कर्मचारियों की नियमित मॉनीटरिंग की जाती है।
शहर की मलिन बस्तियों में शुमार श्रीराम कॉलोनी व रसीद कॉलोनी क्षेत्रफल व जनसंख्या की दृष्टि से अन्य वार्डों की अपेक्षा बड़ी कॉलोनी है। लेकिन इस अनुपात में नगर पालिका ने यहां सफाई कर्मियों की तैनाती नहीं की है। न ही इन कर्मचारियों की नियमित मॉनीटरिंग की जाती है।
यही वजह है कि इन दोनों कॉलोनियों में सफाई व्यवस्था के हालात बद्तर बने हुए हैें। वहीं वार्डों में सड़कों का नया निर्माण भी नहीं हुआ है। पहले की क्षतिग्रस्त सीसी सड़कों के ऊपर डामर कर अपने कर्तव्य की इतिश्री कर ली गई। यह डामर एक बारिश भी नहीं झेल पाया और वार्ड की गलियां गड्ढों में तब्दील हो गईं।
कहीं नजर नहीं आते डस्टबिन
शहर को स्वच्छता रैकिंग में शामिल कराने के लिए सबसे जरूरी बिंदु है कचरा प्रबंधन। जिसमेंं इस समय नगर पालिका बहुत पीछे है। क्योंकि ज्यादा क्षेत्रफल वाले वार्डों में कचरे को फैलने से रोकने के लिए नपा ने उचित स्थानों पर डस्टबिन नहीं रखवाए हैं।
कहीं नजर नहीं आते डस्टबिन
शहर को स्वच्छता रैकिंग में शामिल कराने के लिए सबसे जरूरी बिंदु है कचरा प्रबंधन। जिसमेंं इस समय नगर पालिका बहुत पीछे है। क्योंकि ज्यादा क्षेत्रफल वाले वार्डों में कचरे को फैलने से रोकने के लिए नपा ने उचित स्थानों पर डस्टबिन नहीं रखवाए हैं।
श्रीराम कॉलोनी व रसीद कॉलोनी में कहीं भी डस्टबिन नजर नहीं आते हैं। जबकि इस वार्ड का अधिकांश एरिया खुला है जहां खाली पड़े प्लॉटों में वार्डवाासी अपने कचरा फेंकने को मजबूर हैं।
यह बोले वार्डवासी
हमारी कॉलोनी में सफाई व्यवस्था की हालत सबसे खराब है। सफाई कर्मी कभी कभी आते हैं। घरों का कचरा फेंकने कहीं भी डस्टबिन नहीं हैं।
– विवेक चंदेल, वार्डवासी
श्रीराम कॉलोनी में सफाई की स्थिति यह है कि दो दिन तक एक ही स्थान पर कचरा पड़ा रहता है। नालियां कई दिनों तक साफ न होने से चौक हो जाती हैं। वार्ड मेें सड़क कम गड्ढे ज्यादा हैं।
– मोहम्मद आसिफ, वार्डवासी
यह बोले जिम्मेदार
हमारे वार्ड का क्षेत्रफल व जनसंख्या अन्य वार्डों की तुलना में अधिक है। फिर भी हमें कम सफाई कर्मचारी उपलब्ध कराए गए हैं, जिससे सफाई व्यवस्था की स्थिति ठीक नहीं है। सड़कें कब दुरुस्त होंगे पता नहीं।
– अंजना जाट, पार्षद वार्ड 25, नगर पालिका परिषद् गुना
यह बोले वार्डवासी
हमारी कॉलोनी में सफाई व्यवस्था की हालत सबसे खराब है। सफाई कर्मी कभी कभी आते हैं। घरों का कचरा फेंकने कहीं भी डस्टबिन नहीं हैं।
– विवेक चंदेल, वार्डवासी
श्रीराम कॉलोनी में सफाई की स्थिति यह है कि दो दिन तक एक ही स्थान पर कचरा पड़ा रहता है। नालियां कई दिनों तक साफ न होने से चौक हो जाती हैं। वार्ड मेें सड़क कम गड्ढे ज्यादा हैं।
– मोहम्मद आसिफ, वार्डवासी
यह बोले जिम्मेदार
हमारे वार्ड का क्षेत्रफल व जनसंख्या अन्य वार्डों की तुलना में अधिक है। फिर भी हमें कम सफाई कर्मचारी उपलब्ध कराए गए हैं, जिससे सफाई व्यवस्था की स्थिति ठीक नहीं है। सड़कें कब दुरुस्त होंगे पता नहीं।
– अंजना जाट, पार्षद वार्ड 25, नगर पालिका परिषद् गुना