एएचपी समर्थकों ने कहा कि तोगड़िया ने काली पट्टी बांधकर उन्हें चुप कराने के सरकार के कदम का विरोध करने का निर्णय लिया है। तोगड़िया गुवाहाटी के पुलिस आयुक्त हिरेन नाथ से मिले और पूछा क्यों उन्हें जनसभाओं को संबोधित करने और कोई बयान देने से प्रतिबंधित किया गया है। इसके बाद उन्होंने पत्रकार सम्मेलन को भी संबोधित किया। उन्होंने कहा कि राज्य में पचास लाख बांग्लादेशी हैं। असम की भाजपानीत सरकार जाति, माटी व भेटी की रक्षा के लिए आई थी, लेकिन यहां के सत्रों पर बांग्लादेशियों का कब्जा हो गया है। बांग्लादेशियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है।
चुप कराने के लिए सरकार ने उठाया है यह कदम
असम में एएचपी नेता ने कहा कि सरकार का यह कदम हमें चुप कराने के लिए है। हालांकि हम चुप नहीं बैठेंगे और भाजपा सरकार को इसका जवाब 2019 के आम चुनाव में देना होगा। उन्होंने कहा कि असम सरकार ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में 100 वाहनों को रोक दिया। इन वाहनों में सवार एएचपी के हजारों समर्थक गुवाहाटी पहुंचकर तोगड़िया से मिलने वाले थे। पुलिस को आशंका थी कि उनके भड़काऊ भाषण शांति व्यवस्था में खलल पड़ सकता है।